- अफगानिस्तान पर तालिबान के कब्जे के बाद काबुल से भारतीय नागरिकों और अफगान सहयोगियों को सुरक्षित लाने के भारत के जटिल मिशन का नाम ‘ऑपरेशन देवी शक्ति’ रखा गया है। इस अभियान के नाम के बारे में तब पता चला जब विदेश मंत्री एस जयशंकर ने 78 और लोगों को अफगानिस्तान से लाए जाने के संदर्भ में मंगलवार को अपने एक ट्वीट में इसका उल्लेख किया। उन्होंने लिखा, ”ऑपरेशन देवी शक्ति जारी है। काबुल से 78 लोगों को दुशांबे के रास्ते लाया गया। आईएएफ-एमसीसी, एअरइंडियन और टीम एमईए को उनके अथक प्रयासों के लिए नमन।” भारत ने 16 अगस्त को काबुल से 40 भारतीयों को विमान से दिल्ली लाकर लोगों को सुरक्षित लाने के जटिल मिशन की शुरुआत की थी। इससे एक दिन पहले तालिबान ने अफगानिस्तान की राजधानी पर नियंत्रण कर लिया था। काबुल में खराब होती सुरक्षा स्थिति और अपने नागरिकों को वापस ले जाने के विभिन्न देशों के प्रयासों के बीच भारत अब तक 800 से अधिक लोगों को सुरक्षित ला चुका है। पिछले एक सप्ताह से हजारों अफगान नागरिक काबुल हवाईअड्डे के आसपास एकत्र हैं जो तालिबान के कब्जे के बाद अपना देश छोडना चाहते हैं। उन्हें डर है कि तालिबान के साथ देश में बर्बरता का दौर फिर लौट आएगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 17 अगस्त को सुरक्षा मामलों की मंत्रिमंडल समिति की बैठक में अधिकारियों को अफगानिस्तान से सभी भारतीयों को सुरक्षित वापस लाने तथा भारत आने के इच्छुक अफगान हिन्दुओं और सिखों को शरण उपलब्ध कराने का निर्देश दिया था। भारत द्वारा काबुल स्थित भारतीय दूतावास से 17 अगस्त को अपने सभी कर्मियों को वापस लाए जाने के बाद जयशंकर ने मिशन को ”कठिन और जटिल” कवायद करार दिया था। मंगलवार को भारत अपने 25 नागरिकों और कई अफगान सिखों तथा हिन्दुओं सहित 78 लोगों को दुशांबे से लेकर आया जिन्हें एक दिन पहले काबुल से इस ताजिकिस्तान की राजधानी पहुंचाया गया था।
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