पूर्णिया (सदर)। पुलिस अधीक्षक द्वारा गठित की गई स्पेशल टीम के द्वारा अंतरराज्यीय शराब तस्कर पश्चिम बंगाल के उत्तर दिनाजपुर दालकोला निवासी मुर्शीद आलम को बिहार-बंगाल के बॉर्डर पूर्णिया मोड़ से गिरफ्तार कर लिया गया है। बताया जाता है कि शराब तस्कर मुर्शीद आलम पर पूर्णिया, अररिया, कटिहार, किशनगंज, दरभंगा, मधुबनी, बांका, पटना, छपरा के अलावा कई अन्य जिलों में शराब तस्करी को लेकर मामले दर्ज हैं।
पुलिस तथा उत्पाद विभाग की टीम उक्त तस्कर को सरगर्मी से पिछले कई सालों से ढूंढ रही थी, लेकिन तमाम कोशिशों के बावजूद भी यह पुलिस के हत्थे नहीं चढ़ रहा था। बताए जाते हैं कि इसके गैंग में सैकड़ों की संख्या में लोग शामिल हैं जो शराब का अवैध धंधा पिछले कई सालों से कर रहा है। हालांकि पुलिस की टीम के द्वारा इसकी गिरफ्तारी को बड़ी सफलता मान रही है।
बताया जाता है कि इनके द्वारा अवैध रूप से पश्चिम बंगाल में दर्जनों की संख्या में बड़े-बड़े गोदाम बनाकर रखे गए हैं, जिसमें नकली शराब डंप कर रखा जाता है। डिमांड आने पर उसे बिहार के कई जिलों में भेजने का काम करता है। पूर्णिया जिले में आधे दर्जन से अधिक बड़े शराब की खेप मामले में उनके खिलाफ डगरूआ समेत कई अन्य थानों में मामले दर्ज हैं।
उत्पाद अधीक्षक दीनबंधु कुमार ने बताया कि विधानसभा चुनाव के समय पश्चिम बंगाल के उत्तर दिनाजपुर निवासी शराब तस्कर मुर्शीद आलम के कई बड़े गोदाम को ध्वस्त करने का काम पश्चिम बंगाल पुलिस के सहयोग से किया गया था। इसके बाद उनके द्वारा अचानक ठिकाना बदल लिया गया था। उन्होंने बताया कि तमाम कोशिशों के बावजूद भी वह शराब की खेप को बिहार के कई इलाकों में भेजने का काम बंद नहीं किया था। उनके साथ सैकड़ों की संख्या में लोग शामिल हैं जिनके द्वारा अलग-अलग रूप से छोटी बड़ी गाड़यिों में शराब की डिमांड के अनुरूप भेजने का काम किया जाता है।
बताया जाता है कि शराब तस्कर मुर्शीद आलम का इस तरह खौफ है कि किसी का भी शराब की खेप दलकोला से गुजरना उसके इजाजत के बिना मुश्किल होता है। यही वजह है कि बिना उसके सूचना के कोई भी शराब की खेप इस होकर नहीं ले जा पाता था। बताया जाता है कि 90 फीसदी से अधिक शराब तस्करी में मुर्शीद आलम का ही हाथ होने का प्रमाण पुलिस की टीम को पूर्व में भी मिल चुका है।
उसके गैंग में कई छोटे-बड़े तस्कर भी शामिल हैं जिनके पास या फिर से शराब की खेप भिजवाने का काम करते हैं। उत्पाद विभाग की टीम भी इन्हें सरगर्मी से तलाश कर रही है। बताया जाता है कि पुलिस की टीम इसे न्यायालय में प्रस्तुत करने के बाद कई दिनों के लिए रिमांड पर भी ले सकती है और इनके द्वारा खुलासे पर कई सफेदपोश लोगों की गर्दन शराब तस्करी के मामले में फंस सकती है।
अंतर राज्यीय शराब तस्कर से पूछताछ के बाद बिहार के कई सफेदपोश लोगों के गर्दन फंस सकती है। बताया जाता है कि उनके कई गैंग के सदस्य बिहार में ऐसे सफेदपोश लोग भी हैं जो नेता से लेकर वरीय अधिकारियों तक के पद पर तैनात हैं। इस तरह के भी कयास लगाए जा रहे हैं कि मुर्शिद की गिरफ्तारी के बाद कई लोग मोबाइल ऑफ कर फरार हो गए हैं। पुलिस की टीम के द्वारा उनसे गहराई से पूछताछ की जा रही है।
उनके गिरोह में कौन-कौन लोग शामिल है और किस तरह से वह इस धंधे को इतने बड़े स्तर पर ऑपरेट करता था। पुलिस अधीक्षक दयाशंकर ने बताया कि कुछ अंतर राज्यीय शराब तस्कर को पुलिस की टीम के द्वारा पूछताछ के लिए हिरासत में लिया गया है। इस मामले में पुलिस की टीम के द्वारा जल्द ही बड़े खुलासे किए जाएंगे।