पटना, । : जनता दल यूनाइटेड (JDU) संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष व मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (CM Nitish Kumar) के करीबी माने जाने वाले उपेंद्र कुशवाहा (Upendra Kushwaha) के अनुसार बिहार में लागू शराबबंदी का कानून सफल नहीं (Liquor Ban fails in Bihar) है। जब तक जनता नहीं चाहेगी, सरकार के चाहने से शराबबंदी सफल नहीं होगी। हालांकि, उन्होंने शराबबंदी का समर्थन करते हुए यह भी कहा कि इससे समाज को लाभ पहुंचा है। शराबबंदी कानून को लेकर कुशवाहा के बयान पर कांग्रेस ने भी सहमति व्यक्त की है। कुशवाहा ने जेडीयू के गुजरात में चुनाव लड़ने की संभावना भी जताई।
शराबबंदी की सफलता के लिए जनता का साथ जरूरी
एक कार्यक्रम के सिलसिले में बिहार के वैशाली पहुंचे उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि पीने वालों व बेंचने वालों के बीच की कड़ी तोड़ना जरूरी है। शराब की बिक्री को रोकना जरूरी है। जब बिक्री बंद होगी तो लोग पीना भी छोड़ देंगे। शराबबंदी की सफलता के लिए जनता का साथ जरूरी है। केवल सरकार के रोके शराब पर रोक संभव नहीं है। कुशवाहा ने यह भी कहा कि शराबबंदी से समाज को लाभ मिला है। यह जितनी सफल होगी, उतना ही अधिक लाभ मिलेगा।
विधानसभा के शीतकालीन सत्र के पहले दिया बयान
बिहार में शराबबंदी मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की बड़ी पहल है। इसे लेकर मुख्यमंत्री गंभीर हैं। समय-समय पर इस कानून की समीक्षा होती रही है, लेकिन शराबबंदी को लेकर कोई सवाल नहीं है। ऐसे में उपेंद्र कुशवाहा का यह बयान महत्वपूर्ण हो जाता है। यह बयान विधानसभा के शीतकालीन सत्र के शुरू होने के कुछ ही पहले दिया गया है। ऐसे में इसपर राजनीति गरमानी तय लग रही है। इसके पहले मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के करीबी हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा (HAM) के अध्यक्ष व पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी (Jitan Ram Manjhi) ने कहा था कि बिहार में आधा लीटर तक पीने वालों को माफ कर देना चाहिए।
कुशवाहा के बयान पर अब राजनीतिक बयानबाजी
कुशवाहा के बयान को लेकर राजनीतिक बयानबाजी होने लगी है। पहला बयान सत्ताधारी महागठबंधन में शामिल कांग्रेस की ओर से आया है। कांग्रेस के असित नाथ तिवारी ने कुशवाहा के बयान से सहमति जताई है। उन्होंने कहा कि शराबबंदी का कानून अच्छा तो है, लेकिन यह पुलिस के कारण विफल है।
गुजरात चुनाव काे लेकर बताया जेडीयू का स्टैंड
उपेंद्र कुशवाहा ने गुजरात चुनाव काे लेकर जेडीयू का स्टैंड साफ किया। उन्होंने कहा कि पार्टी की स्थानीय इकाई तय करती है कि कहां चुनाव लड़ना है। जेडीयू गुजरात में भी चुनाव मैदान में कूद सकता है।