उन्नाव सदर कोतवाली क्षेत्र के मोहल्ला हिरन नगर के रहने वाले ज्ञानू शुक्ला के खिलाफ सड़क हादसे मामले में वारंट कोर्ट से जारी हुआ था. मामले में सदर कोतवाली पुलिस ने ज्ञानू को 2 अप्रैल को हिरासत में लेकर कब्बा खेड़ा में बनाई गई अस्थाई जेल भेज दिया. यहां ज्ञानू से अस्थाई जेल में तैनात जिला कारागार के हेड जेल वार्डेन रामनरेश भार्गव व जेल वार्डेन पृथ्वी राज ने शौचालय साफ करने का दबाव बनाया. इंकार करने पर ज्ञानू को दोनों ने लात घूंसो व बेल्ट से जमकर मारा पीटा.
घर पहुंचकर युवक ने सुनाई आपबीती
6 अप्रैल को कोर्ट से ज्ञानू की जमानत मंजूर होने पर परिजन उसे लेकर घर पहुंचे. यहां दर्द से कराह रहे युवक ने परिजनों को आप बीती बताई. परिजनों ने 7 अप्रैल को युवक को जिला अस्पताल में भर्ती कराया. वहीं पीड़ित की बहन ममता द्विवेदी ने सदर कोतवाली में तहरीर देकर अस्थाई जेल में भाई के साथ मारपीट होने का आरोप लगाते हुए अस्थाई जेल कर्मियो के खिलाफ कार्रवाई की मांग की.प्रभारी डीएम ने डीजी जेल को लिखा पत्र, 2 सस्पेंड
प्रभारी डीएम सरनीत कौर ब्रोका ने संज्ञान लेते हुए एडीएम प्रशासन राकेश सिंह की अध्यक्षता में तीन सदस्यीय जांच टीम गठित कर जांच कर 24 घंटे में रिपोर्ट तलब की. एडीएम ने जांच टीम के साथ अस्थाई जेल पहुंचकर मामले की जांच की. एडीएम ने प्रभारी डीएम को जांच रिपोर्ट दी, जिसमें हेड जेल वार्डेन रामनरेश भार्गव व जेल वार्डेन प्रथ्वी राज के द्वारा युवक के साथ मारपीट किए जाने के आरोप को सही पाया.