नई दिल्ली, । भारत और कनाडा के बिगड़ते रिश्तों के बीच बुधवार को संसद में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और विदेश मंत्री एस जयशंकर की मुलाकात हुई। बता दें कि मंगलवार सुबह भारत ने कनाडा के उच्चायुक्त कैमरून मैके को तलब किया। भारत ने कनाडा के राजनयिक को निष्कासित करने का फैसला भी लिया।
जस्टिन ट्रूडो ने दिया था बेतुका बयान
दरअसल, पीएम जस्टिन ट्रूडो ने कुछ दिनों पहले दावा किया था कि कनाडा की सुरक्षा एजेंसियां इस बात की जांच कर रही हैं कि क्या हरदीप सिंह की हत्या के पीछे भारतीय एजेंसियों का हाथ है। ट्रूडो ने ये भी कहा कि कनाडा में उनके एक नागरिक की हत्या के पीछे दूसरे देश या सरकार की संलिप्तता को स्वीकार नहीं किया जा सकता है।
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पीएम ट्रूडो की ये बात भारत सरकार को नागवार गुजरी है क्योंकि एक तो कनाडा खालिस्तानी आतंकवादियों का पनाह देता आया है, वहीं यह ट्रूडो की सरकार खालिस्तानी आतंकियों पर कार्रवाई करने की बजाय भारत सरकार पर सवाल उठा रही है।
अजीत डोभाल से मिले अमित शाह
बता दें कि देश की आंतरिक मुद्दों को लेकर गृह मंत्री अमित शाह और एनएसएस चीफ अजीत डोभाल की मुालाकात हुई है।
अमेरिका ने क्या कहा?
भारत और कनाडा के बीच बढ़ती तल्खियों पर अमेरिका भी नजर बनाए हुए है। अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने भारत और कनाडा के बीच हुए इस विवाद को लेकर चिंता जताई है। अमेरिका की मीडिया रिपोर्ट में कहा गया है कि भारत-कनाडा संबंध को लेकर अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन चिंतित हैं।
इस मुद्दे पर सरकार के साथ विपक्ष
कनाडा के साथ भारत के रिश्तों में आए खटास पर बुधवार को कांग्रेस नेता भी अपनी प्रतिक्रिया दी है। कांग्रेस के नेता जयराम रमेश ने एक्स (जिसे पहले ट्विटर कहा जाता था) पर एक पोस्ट में कहा कांग्रेस का हमेशा मानना रहा है कि आतंकवाद के खिलाफ हमारे देश की लड़ाई समझौता रहित होनी चाहिए, खासकर जब आतंकवाद भारत की संप्रभुता, एकता और अखंडता के लिए खतरा हो।