पटना, । Bihar Politics: बिहार विधानसभा की दो सीटों तारापुर और कुशेश्वरस्थान के लिए पिछले दिनों हुए उप चुनाव ने महागठबंधन के दो दलों राजद और कांग्रेस की राह अलग कर दी थी। अब बिहार विधानसभा की ही एक और सीट बोचहां में होने वाले उप चुनाव ने एनडीए में ऐसी ही स्थिति लाकर खड़ी कर दी है। बोचहां में अपने प्रत्याशी की दावेदारी को लेकर भाजपा और मुकेश सहनी की पार्टी वीआईपी के बीच चल रही तनातनी के बीच जदयू ने सुलह पर काम करने की बात कही है। जदयू संसदीय बोर्ड के राष्ट्रीय अध्यक्ष उपेंद्र कुशवाहा ने रविवार को कहा इस सीट पर प्रत्याशी देेने के पहले भाजपा को मुकेश सहनी को विश्वास में लेना चाहिए था।
मुजफ्फरपुर के बोचहां में वीआइपी के मुसाफिर पासवान के निधन होने की वजह से उप चुनाव हो रहा है। भाजपा ने इस सीट पर बेबी कुमारी को अपना प्रत्याशी बनाया है। एक समय वह बोचहां से विधायक रही हैैं। वहीं वीआइपी का कहना है कि बोचहां की सीट उनकी है। निधन उनके विधायक का हुआ है। उन्होंने यह घोषणा कर रखी है कि बोचहां से वह मुसाफिर पासवान के पुत्र को अपनी पार्टी से उम्मीदवार बनाएंगे। इस वजह से इस सीट को लेकर एनडीए में ही तनातनी हो गयी है।
- बोचहां से भाजपा को प्रत्याशी देने से पहले मुकेश सहनी को विश्वास में लेना चाहिए था : उपेंद्र
- जदयू संसदीय बोर्ड के अध्यक्ष ने कहा कि विवाद सुलझा लिया जाना चाहिए
बोचहां सीट को लेकर एनडीए में तनातनी पर उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि एनडीए में इस मुद्दे पर मुकेश सहनी और भाजपा के बीच जो विवाद है उसे जल्द सुलझा लेना चाहिए। परिवार का अगर कोई व्यक्ति नाराज होकर घर छोडऩे की बात कर तो यह ठीक नहीं है। अगर इस प्रकरण को सुलझाने में जदयू को मध्यस्थता की जरूरत पड़ती है तो हमे इससे इन्कार नहीं। आपको बता दें कि पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी की पार्टी हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा ने इस मसले पर खुलकर मुकेश सहनी का समर्थन किया है। हम के प्रवक्ता दानिश रिजवान ने बोचहां सीट पर भाजपा के उम्मीदवार देने को गलत बताया था।