मास्को,। रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने मंगलवार को कहा कि अमेरिका व उसके सहयोगी देशों ने मास्को की शीर्ष सुरक्षा मांगों की अनदेखी की है, लेकिन उनका देश यूक्रेन के मुद्दे पर पश्चिमी देशों के साथ वार्ता के लिए अब भी तैयार है। उधर, यूक्रेन के राष्ट्रपति वोलोदिमीर जेलेंस्की ने एक फैसले पर हस्ताक्षर किया है, जिसके तहत अगले तीन वर्षो में देश की सैन्य क्षमता एक लाख कर दी जाएगी और सैनिकों के वेतन में भी इजाफा किया जाएगा। जेलेंस्की ने स्पष्ट किया कि इस फैसले का कतई यह मतलब नहीं कि रूस के साथ युद्ध नजदीक है।
अमेरिकी प्रस्ताव पर प्रतिक्रिया के दावे को रूस ने बताया ‘झूठा’
एपी के अनुसार, बाइडन प्रशासन के तीन अधिकारियों ने दावा किया है कि रूस की सरकार ने यूक्रेन संकट को कम करने के उद्देश्य से अमेरिका के प्रस्ताव पर लिखित प्रतिक्रिया भेजी है। बाइडन प्रशासन रूस पर यूक्रेन सीमा पर तनाव कम करने का दबाव बना रहा है। हालांकि, रूस के उप विदेश मंत्री ग्रुश्को एलेक्जेंडर ने मंगलवार को सरकारी समाचार एजेंसी आरआइए नोवोस्ती को दिए गए साक्षात्कार में इन दावों को ‘झूठा’ करार दिया।
UNSC में रूस व अमेरिका के प्रतिनिधियों के बीच हुई तकरार
रूस ने पश्चिमी देशों पर यूक्रेन को लेकर तनाव बढ़ाने का आरोप लगाया और कहा कि अमेरिका कीव में ‘नाजियों’ को सत्ता में लेकर आया है। रूस ने यह टिप्पणी सोमवार को संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (यूएनएससी) की बैठक में की, जहां दोनों देशों के प्रतिनिधियों में तीखी बहस हुई।
रूसी राजदूत वासिली नेबेंजिया ने अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन के प्रशासन पर तनाव भड़काने और उकसाने का आरोप लगाया। नेबेंजिया ने अमेरिकी राजदूत की तरफ देखते हुए कहा, ‘आप युद्ध की तरफ धकेल रही हैं। क्या आप चाहती हैं कि ऐसा हो?’ अमेरिकी राजदूत लिंडा थामस ग्रीनफील्ड ने पलटवार करते हुए कहा कि रूस ने यूक्रेन सीमा पर एक लाख से अधिक सैनिकों को तैनात कर रखा है, जो यूरोप में दशकों में सबसे बड़ा सैन्य जमावड़ा है।
एएनआइ के अनुसार, क्रेमलिन के प्रेस सचिव दमित्री पेस्कोव ने आरोप लगाया है कि अमेरिका, यूक्रेन के मुद्दे पर हिस्टीरिया को बढ़ावा दे रहा है। हिस्टीरिया भावनाओं से जुड़ी एक मानसिक अवस्था है। रूसी प्रेस सचिव अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन के उस बयान पर प्रतिक्रिया दे रहे थे, जिसमें उन्होंने कहा था कि अगर रूस कूटनीतिक समाधान के बजाय यूक्रेन पर हमला करता है, तो उसे गंभीर परिणाम भुगतने होंगे।