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5G को लेकर केन्द्रीय संचार मंत्री ने दिया नया अपडेट,


नई दिल्ली, । कल से खबर आ रही थी कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी 1 अक्टूबर को देश में 5G सेवाएँ लांच कर सकते हैं। लेकिन अब भारत सरकार के संचार, इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने 5G सर्विस को लेकर फिर एक अपडेट दिया है।

केंद्रीय संचार मंत्री ने अपने एक कार्यक्रम में कहा कि 5G सर्विस देश मेँ बहुत जल्द लांच होने वाली है। उन्होंने कहा सरकार का लक्ष्य है 2 साल के अंदर ही 5G नेटवर्क पूरे देश मेँ पहुँच जाये।

अब कब शुरू होगी 5G सेवा

केंद्रीय संचार मंत्री अश्विनी वैष्णव पहले ही कह चुके हैं कि भारत में 5जी सेवा अक्टूबर के महीने से शुरू हो जाएगी। Reliance Jio और Bharti Airtel जैसी कंपनियाँ भी घोषणा कर चुकी है कि देश में 5G सेवा अक्टूबर के महीने में दिवाली तक शुरू हो जाएगी।

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5G को लेकर लगातार देते हैं अपडेट

केंद्रीय संचार,इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री अश्विनी वैष्णव ने कुछ दिन पहले सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म Koo के जरिये 5G का अपडेट दिया था। इसमें उन्होंने बताया था 5जी नेटवर्क के लिए स्पेक्ट्रम असाइनमेंट लेटर जारी कर दिए गए हैं। इसके साथ ही उन्होंने टीएसपी (Telecom Service Provider) से 5G लॉन्च की तैयारी के लिए भी अनुरोध किया है। तब उन्होंने बताया था कि स्पेक्ट्रम आवंटन के साथ ही भारत अब हाई-स्पीड 5G दूरसंचार सेवाओं को शुरू करने के अंतिम चरण में पहुँच चुका है।

प्रधानमंत्री मोदी ने भी 5G पर दी जानकारी

इस साल स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर लाल किले की प्राचीर से राष्ट्र के नाम अपने संबोधन के दौरान प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने भी कहा था कि ये Decade, मानव जाति के लिए tecahade का समय है और ये टेक्नोलॉजी का Decade है। लेकिन भारत के लिए तो ये tecahade है , जिसका मन टेक्नोलॉजी से जुड़ा हुआ है। प्रधानमंत्री ने साफ शब्दों में कहा कि भारत अब 5G के दौर की ओर कदम रख रहा है। देश को इसके लिए अब बहुत ज्यादा इंतजार नहीं करना होगा। उनहोंने ये भी बताया कि सेमीकंडक्टर निर्माण और ऑप्टिकल फाइबर केबल जैसी तकनीकों पर सरकार अपना ध्यान केंद्रित कर रही है।

पीएम ने कहा था कि गांवोंमें 5G, सेमीकंडक्टर निर्माण और ओएफसी के साथ, सरकार डिजिटल इंडिया के माध्यम से जमीनी स्तर पर क्रांति ला रही है।

 

5G क्या है, और यह 3G और 4G से कैसे अलग है?

5G पांचवीं पीढ़ी का मोबाइल नेटवर्क है जो बहुत तेज गति से डेटा के बड़े स्तर को प्रसारित करने में सक्षम है। 3G और 4G की तुलना में, 5G में बहुत कम विलंबता (latency) है जो विभिन्न क्षेत्रों में यूजर्स के अनुभव को बढ़ाएगी।

प्रतिभागी कौन हैं?

5G स्पेक्ट्रम की नीलामी के बाद चार प्रमुख भागीदार सामने आए हैं। इनमें रिलायंस जियो, अडानी समूह, भारती एयरटेल और वीआई यानी वोडाफोन आइडिया के नाम शामिल हैं।

नीलामी से सरकार को राजस्व कितना प्राप्त हुआ?

दूरसंचार विभाग को 5G नीलामी से कुल 1.50 लाख करोड़ रुपये की बोलियां मिलीं। शुरुआत में नीलामियों से 80,000-90,000 करोड़ रुपये के राजस्व होने का अनुमान लगाया गया था।