चंडीगढ़,। ‘वारिस पंजाब दे’ का प्रमुख अमृतपाल लगातार पांचवें दिन पुलिस से बच कर फरार है। पुलिस लगातार अमृतपाल को पकड़ने के लिए सर्च ऑपरेशन चला रही है और साथ ही जगह-जगह पर दबिश दे रही है। इसी बीच पंजाब पुलिस ने मंगलवार को कहा कि उन्होंने राज्य में ‘शांति और सद्भाव’ को भंग करने के लिए 154 लोगों को गिरफ्तार किया है।
अमृतपाल के घर पहुंची पुलिस
पंजाब पुलिस ‘वारिस पंजाब दे’ प्रमुख अमृतपाल सिंह के अमृतसर के जल्लूपुर खेड़ा गांव स्थित आवास पर पहुंची। गौरतलब है कि अमृतपाल 18 मार्च से ही फरार है। उसकी गिरफ्तारी के लिए पुलिस लगातार दबिश दे रही है।
भागने में इस्तेमाल की हई बाइक बरामद
आज बुधवार को पुलिस ने उस बाइक को बरामद कर लिया है जिस पर बैठकर अमृतपाल मौके से फरार हुआ था। जालंधर के एसएसपी स्वर्णदीप सिंह ने इस बात की जानकारी दी ।
सूचना के मुताबिक इस मोटरसाइकिल को जालंधर की एक नहर से बरामद किया गया है।
पुलिस महानिरीक्षक ( आईजीपी) मुख्यालय सुखचैन गिल ने जानकारी देते हुए बताया कि राज्य में शांति और सद्भाव को बिगाड़ने के लिए कुल 154 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। पंजाब में स्थिति को सामान्य बनाए रखने के लिए पुलिस काम कर रही है। उन्होंने साफ कहा कि राज्य में स्थिति पूरी तरह से स्थिर और नियंत्रण में है।
बता दें कि बीते शनिवार को पंजाब पुलिस ने वारिस पंजाब दे के प्रमुख और खालिस्तान समर्थक अमृतपाल सिंह और उसके साथियों के खिलाफ ऑपरेशन शुरू किया था। इस ऑपरेशन में जहां अमृतपाल के साथी गिरफ्तार हुए थे, तो वहीं वह खुद भागने में कामयाब हो गया था। फरार अमृतपाल को पकड़ने के लिए लगातार पुलिस दबिश दे रही है और पंजाब में खालिस्तान समर्थक और अमृतपाल के समर्थकों को पुलिस हिरासत में ले रही है।
अमृतपाल के खिलाफ लुकआउट जारी
पुलिस महानिरीक्षक (आईजीपी) मुख्यालय सुखचैन गिल ने बताया कि भगोड़ा अमृतपाल सिंह के खिलाफ लुकआउट सर्कुलर (एलओसी) और गैर जमानती वारंट (एनबीडब्ल्यू) जारी किया गया है और उसकी गिरफ्तारी के प्रयास किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि इस कार्रवाई में पंजाब पुलिस को दूसरे राज्यों और केंद्रीय एजेंसियों का पूरा सहयोग मिल रहा है। हिमाचल प्रदेश में भी सुरक्षा व्यवस्था बढ़ा दी गई है। आईजीपी ने अलग-अलग लुक वाले अमृतपाल की तस्वीरें साझा करते हुए लोगों से फरार अमृपाल के ठिकाने का खुलासा करने की अपील की।
उन्होंने बताया कि पुलिस से बचने के लिए अमृतपाल ने अपना लुक बदल लिया है। उसी को देखते हुए अमृतपाल के अलग-अलग लुक भी जारी कर दिए गए हैं।
भागने में इस्तेमाल की गई ब्रेजा कार बरामद
आईजीपी ने सुखचैन गिल और जानकारी देते हुए कहा कि जालंधर ग्रामीण पुलिस ने एक ब्रेजा कार (पीबी02-ईई-3343) बरामद की है, जिसका इस्तेमाल अमृतपाल ने 18 मार्च को उस समय किया जब पुलिस की टीमें उसके काफिले का पीछा कर रही थीं। सामने आए सीसीटीवी फुटेज में भी ये कार दिखाई दी थी।
अमृतपाल के भागने में मदद करने वाले आरोपित गिरफ्तार
पुलिस ने शाहकोट के नवा किला निवासी मनप्रीत सिंह उर्फ मन्ना (28), नकोदर के गांव बाल नौऊ निवासी गुरदीप सिंह उर्फ दीपा (34), कोटला नोध सिंह गांव के हरप्रीत सिंह उर्फ हैप्पी (36), और फरीदकोट के गोंदरा गांव के गुरभेज सिंह उर्फ भेजा के रूप में पहचाने गए चार आरोपियों को भी गिरफ्तार किया है। इन चारों आरोपियों ने अमृतपाल को भागने में मदद की थी।
अमृतपाल ने बदला हुलिया
आईजीपी ने कहा कि यह बात सामने आई है कि अमृतपाल सिंह ने कपड़े बदले और अपना हुलिया भी बदल लिया। साथियों के साथ जाकर अमृतपाल ने गांव नंगल अंबिया के एक गुरुद्वारा साहिब में कपड़े बदले और दो मोटरसाइकिलों पर वहां से फरार हो गए।
आईजीपी सुखचैन सिंह गिल ने बताया कि पुलिस टीमों ने मोगा के गांव रौके के कुलवंत सिंह राओके और कपूरथला के गुरिंदर पाल सिंह उर्फ गुरी औजला को भी राष्ट्रीय सुरक्षा कानून के तहत गिरफ्तार कर हिरासत में लिया है।
अमृतपाल के चाचा के खिलाफ नई एफआईआर दर्ज
आईजीपी ने बताया कि जालंधर ग्रामीण पुलिस ने अमृतसर के कल्लू खेड़ा के अमृतपाल के चाचा हरजीत सिंह और मोगा के गांव मडोका के उनके ड्राइवर हरप्रीत सिंह के खिलाफ अवैध तरीके से घुसने और दो दिनों के लिए घर में शरण लेने के आरोप में एक नई प्राथमिकी दर्ज की है। इन लोगों ने जालंधर के महतपुर के उड्डोवाल गांव के सरपंच मनप्रीत सिंह को बंदूक की नोक पर डरा धमका कर रखा और उनके घरों में शरण ली।
उन्होंने बताया कि दोनों आरोपित व्यक्ति अपनी मर्सिडीज कार (HR72E1818) में आए थे। पुलिस स्टेशन मेहतपुर में आईपीसी की धारा 449, 342, 506 और 34 और शस्त्र अधिनियम की धारा 25 और 27 के तहत एक प्राथमिकी संख्या 28 दिनांक 20 मार्च दर्ज की गई है।
अंत में आईजीपी सुखचैन गिल ने यह भी बताया कि 37 लोगों को एहतियातन हिरासत में लिया गया है। बता दें कि पंजाब में सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गई है। केंद्र सरकार के साथ मिलकर पंजाब प्रशासन ने अमृपाल सिंह के खिलाफ अभियान चलाया है।