दिसपुर: असम में भी विधानसभा चुनाव के लिए मतदान की उल्टी गिनती शुरू हो गई है। जिस वजह से सभी पार्टियों के वरिष्ठ नेताओं ने राज्य में मोर्चा संभाल लिया है। रविवार को बीजेपी के वरिष्ठ नेता और केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह भी असम के दौरे पर पहुंचे और तिनसुकिया में एक रैली की। इस दौरान उन्होंने कांग्रेस और राहुल गांधी पर जमकर निशाना साधा। साथ ही उनके बदरुद्दीन अजमल को समर्थन देने के फैसले पर सवाल उठाए।
अमित शाह ने कहा कि क्या बदरुद्दीन अजमल का समर्थन लेने वाले राहुल असम को घुसपैठ से बचा सकते हैं? क्या बदरुद्दीन के साथ असम सुरक्षित रह सकता है? एक और 5 साल हमें दे दें, घुसपैठ राज्य में अतीत की बात होगी। उन्होंने आगे कहा कि कुछ दिनों में ये तय हो जाएगा कि अगले 5 वर्षों के लिए असम कौन चलाएगा। एक तरफ पीएम मोदी, सर्बानंद और हिमंत का नेतृत्व है, जबकि दूसरी तरफ राहुल गांधी और बदरुद्दीन अजमल का नेतृत्व, हमें बताएं कि असम का विकास कौन कर सकता है?
शाह के मुताबिक कांग्रेस घुसपैठियों में वोट देखती है, लेकिन हम वोट बैंक की राजनीति नहीं करते हैं। केरल में उन्होंने मुस्लिम लीग के साथ भागीदारी की, जिसने राष्ट्र को विभाजित किया। बंगाल में फुरफुरा शरीफ और यहां पर बदरुद्दीन अजमल है। कांग्रेस पार्टी जीत के लिए किसी का भी साथ दे सकती है। उन्होंने कहा कि 5 साल पहले मैं पार्टी का अध्यक्ष था। हम मोदी जी के नेतृत्व में असम आए थे। हमने कहा था एक बार पूर्ण बहुमत की सरकार दीजिए असम के अंदर से हम आंदोलन और आतंकवाद समाप्त कर देंगे। मैं गर्व के साथ कहता हूं कि 5 साल के बाद असम में ना आंदोलन है ना ही आतंकवाद।
अमित शाह ने आगे कहा कि 2000 से ज्यादा लोग हथियार डालकर मुख्यधारा में आए हैं। बोडो समझौते के बाद असम के अंदर आतंकवाद भूतकाल बन गया है। आंदोलन के वक्त कांग्रेस ने सैकड़ों युवाओं को गोली चलाकर मारने का काम किया। वही आंदोलन करने वाले कांग्रेस को जिताने के लिए वोट कटवा बनकर निकले हैं। असम की संस्कृति पर उन्होंने कहा कि तिनसुकिया जिले के भूपेन हजारिका ही वे व्यक्ति थे जिन्होंने असम के संगीत और संस्कृति को दुनिया में सम्मान दिलाया। कांग्रेस ने उन्हें भारत रत्न नहीं दिया, बल्कि नरेंद्र मोदी ने उन्हें भारत रत्न दिया है।