नई दिल्ली, । सोशल मीडिया के जरिए Fake News के बढ़ते मामलों से भारत सरकार भी परेशान है। सरकार फेक न्यूज़ को फैलने से रोकने के लिए अब कई कदम उठा रही है। इसी सिलसिले में हाल ही में संसद में केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी राज्य मंत्री राजीव चंद्रशेखर ने काफी महत्वपूर्ण जानकारी दी ।
क्या कहते हैं राजीव चंद्रशेखर
राज्य मंत्री राजीव चंद्रशेखर ने राज्यसभा में अपने एक लिखित जवाब में कहा कि सोशल मीडिया कंपनियाँ अपने यूजर्स को स्वेच्छा से अपने अकाउंट्स वेरिफिकेशन करने का अवसर दें। इसके साथ ही ये प्लेटफॉर्म्स यूजर्स को अपने मापदंडों के आधार पर ही verify करके वेरिफिकेशन मार्क भी प्रदान करें जो उनके अकाउंट पर दिखाई दे सके। इससे ये पता चल सकेंगा कि आखिर वो अकाउंट किस व्यक्ति का है। वह यह भी कहते हैं कि यह वेरिफिकेशन कुछ ऐसे ही होगा जैसे फेसबुक, ट्विटर और इंस्टग्राम जैसे माध्यमों पर ब्लू टिक से होता है।
क्या है यह नया नियम
चंद्रशेखर ने यह स्पष्ट किया कि सरकार फेक न्यूज़, गलत सूचनाएँ और इससे यूजर्स को हो रही हानि व अपराधिकता से बढ़ते खतरों आदि से भली भांति परिचित है। इसलिए सरकार संप्रभुता और अखंडता से जुड़े अपराधों को रोकने और उनकी जांच के साथ इस प्रकार के कार्यों में संलिप्त लोगों को सजा के प्रयोजनों पर भी कार्य कर रही है।
इसीलिए सरकार ने अपने देश के यूजर्स के लिए सूचना प्रौद्योगिकी नियम- 2021 (‘आईटी नियम 2021’) को अधिसूचित किया है। जिससे सुरक्षित और विश्वसनीय के साथ एक जवाबदेह इंटरनेट सुविधा उपलब्ध हो सके।राज्यमंत्री ने बताया कि ‘सीईआरटी-इन (Indian Computer Emergency Response Team) ने आईटी अधिनियम, 2000 की धारा 70बी की उप-धारा (6) के प्रावधानों के अंतर्गत भी निर्देश जारी कर, डेटा सेंटर्स, वर्चुअल प्राइवेट सर्वर (VPS) प्रॉवाइडर्स, वीपीएन (VPN) द्वारा सब्सक्राइबर्स या कस्टमर रजिस्ट्रेशन डिटेल से संबंधित मामलों को भी इसमें लिया गया है।