नई दिल्ली,। देश में ‘वन नेशन, वन इलेक्शन’ को लेकर चर्चा चल रही है। केंद्र सरकार ने कुछ दिनों पहले ‘वन नेशन, वन इलेक्शन’ के अध्ययन के लिए 8 सदस्यीय कमेटी का गठन किया था।
समाचाए एजेंसी एएनआई के मुताबिक, दिल्ली में पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद की अध्यक्षता में ‘वन नेशन, वन इलेक्शन’ कमेटी की पहली आधिकारिक बैठक आज होने की संभावना है।
जानकारी के मुताबिक, दोपहर 3 बजे बैठक होगी। कुछ दिनों पहले रामनाथ कोविंद ने कानून मंत्रालय के अधिकारियों से मुलाकात की थी। यह बैठक रामनाथ कोविंद के आवास पर होगी।
इन 8 लोगों को बनाया गया कमेटी सदस्य
कमेटी में कुल 8 लोग शामिल हैं। इसमें अमित शाह, अधीर रंजन चौधरी, गुलाम नबी आजाद, एनके सिंह, सुभाष कश्यप, हरीश साल्वे और संजय कोठारी अन्य सदस्य होंगे। गौरतलब है कि कांग्रेस सांसद अधीर रंजन चौधरी ने इस कमेटी से अपना नाम वापस लेने के लिए की मांग की है।
केंद्र सरकार ने बताया वन नेशन, वन इलेक्शन का फायदा
केंद्र सरकार ने वन नेशन, वन इलेक्शन कराने के पीछे तर्क दिया है कि इससे चुनाव पर खर्च होने वाले सैकड़ों-हजारों करोड़ रुपये की बचत होगी। यदि ‘एक देश, एक चुनाव’ लागू होता है तो पूरे भारत में लोकसभा और राज्य विधानसभाओं के चुनाव एक साथ होंगे और मतदान भी एक ही समय पर होगा।
पीएम मोदी ने भी की वन नेशन, वन इलेक्शन की वकालत
गौरतलब है कि पीएम नरेंद्र मोदी कई बार एक देश, एक चुनाव की चर्चा कर चुके हैं। नवंबर 2020 में पीठासीन अधिकारियों के एक सम्मेलन को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा था कि वन नेशन, वन इलेक्शन न केवल बहस का विषय है, बल्कि भारत के लिए एक आवश्यकता है। उन्होंन कहा कि भारत में हर महीने चुनाव होता है, जिससे विकास बाधित होता है। देश को इतना पैसा नहीं बर्बाद करना चाहिए।