इस इलाके के अंतर्गत आने वाला लुहांस्क प्रांत रविवार को रूसी सेना के कब्जे में आ गया जबकि डोनेस्क प्रांत पर पूर्ण नियंत्रण के लिए लड़ाई जारी है। महीनों से हमलों का सामना कर रहे नागरिकों और सैनिकों की मानसिक स्थिति में भी अंतर आया है। इनमें से ज्यादातर को अपना ठिकाना छोड़ना पड़ा है और जान बचाते हुए अभावग्रस्त परिस्थितियों में रहना पड़ रहा है।
यूक्रेन का एक लाख आबादी वाला शहर बन गया रेगिस्तान
यूक्रेन के नेशनल गार्ड की स्वोबोदा बटालियन के उप प्रमुख लेफ्टिनेंट वोलोदिमीर नाजारेंको (30) बताते हैं कि उन्होंने एक लाख एक हजार की आबादी वाले शहर को जले हुए रेगिस्तान में बदलते हुए देखा है। ऐसा वहां पर रूसी टैंकों की दिन-रात की गोलाबारी से हुआ। इस शहर की एक भी इमारत सुरक्षित नहीं बची है। वहां रहने वाले ज्यादातर लोग शहर छोड़ गए हैं और जो हैं उनकी सुविधाओं के लिए कुछ नहीं बचा है।