प्रयागराज, । उमेश पाल हत्याकांड के 47 दिन बाद अतीक के बेटे असद अहमद और शूटर गुलाम को मुठभेड़ में ढेरकर उत्साहित एसटीएफ ने अब पूरा जोर गुड्डू मुस्लिम को दबोचने में लगा दिया है। गुड्डू मुस्लिम का कोड नेम असद ने मुर्गी रखा था। गुड्डू प्रयागराज से भागकर झांसी और फिर दिल्ली होते हुए मेरठ गया था। ताजा लोकेशन मिलने के बाद उसे एसटीएफ ने घेरा है।
देशी बम निकालकर फेंकता दिखा था गुड्डू मुस्लिम
गुड्डू मुस्लिम वह नाम है, जो 24 फरवरी को उमेश पाल हत्याकांड के बाद बमबाजी की वजह से चर्चा में रहा है। सीसीटीवी फुटेज में वह अरमान बिहारी के साथ बाइक पर आने के बाद बैग से देशी बम निकालकर फेंकता दिखा था। उसने बम धमाकों से अफरातफरी मचा दी थी। बम की दहशत में लोग दूर भागते दिखे थे। एक बम गनर राघवेंद्र के कंधे पर लगा था जो उसके लिए काल बन गया। गुड्डू की बमबाजी की वजह से शूटरों को उमेश पर गोलियां बरसाने से कोई रोकने वाला नहीं था। कुछ मिनट के लिए बम धमाकों से सब धुआं-धुआं सा हो गया था। बमुश्किल 45 सेकंड में वारदात को अंजाम देकर शूटर भागे तो गुड्डू को अरमान के साथ बाइक पर जाते देखा गया था।
उमेश हत्याकांड में शामिल अपराधियों में सबसे अनुभवी माना गया गुड्डू मुस्लिम
पता चला है कि प्रयागराज से भागकर वह झांसी में एक ठेकेदार के यहां गया था। फिर दिल्ली निकल गया। एसटीएफ और पुलिस टीम उसके पीछे लगी लेकिन वह ठिकाने बदलता रहा। शूटआउट के बाद उसे एक बार अतीक की बहन आयशा के मेरठ वाले घर में जाने पर सीसीटीवी फुटेज में देखा गया था। वह पांच मार्च को सुबह आयशा के घर पहुंचा और 17 घंटे रहने के बाद पैसे लेकर दिल्ली के लिए निकल गया। शूटआउट में शामिल अपराधियों में गुड्डू मुस्लिम को सबसे अनुभवी माना गया है।
बिहार के माफिया के लिए काम कर चुका है गुड्डू
54 साल का गुड्डू यूपी के अलावा बिहार में भी माफिया के लिए काम कर चुका है। यही वजह है कि उसे फरार होने का भी अनुभव है। उमेश पाल हत्याकांड से पहले साजिश रचने के दौरान असद ने सबका कोड नेम बनाया था। गुड्डू मुस्लिम का नाम रखा गया मुर्गी, वजह ये कि उसके परिवार का चकिया में चिकन का काम है। आइफोन में गुड्डू की मुर्गी नाम से आइडी बनी। झांसी में गुरुवार को असद और गुलाम को मार गिराने के बाद एसटीएफ ने मुर्गी के पीछे पूरी ताकत झोंक दी है। इस बीच कई बार खबर आई कि एसटीएफ ने गुड्डू को दबोच लिया है लेकिन पुष्टि नहीं हो सकी। गुड्डू के अलावा मरियाडीह गांव के रहने वाले शूटर साबिर और बिहार में आरा जनपद के अरमान भी पांच लाख रुपये के फरार इनामी हैं।