उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के दिल्ली दौरे का शुक्रवार को दूसरा दिन है। योगी आदित्यनाथ सुबह करीब 10.40 बजे प्रधानमंत्री आवास पहुंचे और दोनों नेताओं के बीच सवा घंटे से अधिक समय तक मुलाकात चली। पीएम से मुलाकात के बाद योगी भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा से भेंट करने उनके घर गए। इससे पहले योगी आदित्यनाथ ने गुरुवार को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात की थी। उत्तर प्रदेश में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव को लेकर शुरू हुई अटकलों के बीच Yogi Adityanath का यह दौरा बहुत अहम माना जा रहा है। बताया जा रहा है कि इन सभी मुलाकातों में Yogi Adityanath मुख्यतः कोरोना की दूसरी लहर के प्रकोप और उससे निपटने की राज्य सरकार की कोशिशों पर बात करेंगे। वैक्सीन आवंटन में जनसंख्या को आधार बनाने का भी आग्रह करेंगे। लेकिन सूत्रों का कहना है कि शाह से बैठक में आगामी विधानसभा चुनाव के समीकरण, इस लिहाज से नए साथी दलों व प्रभावी चेहरों की तलाश पर भी चर्चा हुई। प्रधानमंत्री और भाजपा अध्यक्ष से मुलाकात में भी इन्हीं बिंदुओं पर चर्चा हो सकती है। माना जा रहा है कि इस मुलाकात के साथ ही राज्य में बहुत जल्द छोटा मंत्रिमंडल विस्तार संभव है। बल्कि इसकी अटकलें भी तेज हो गई हैं कि उत्तर प्रदेश जैसे बड़े राज्य के चुनाव में उतरने से पहले ही केंद्र में भी बहुप्रतीक्षित कैबिनेट विस्तार हो सकता है।Yogi Adityanath के दो दिवसीय दिल्ली दौरे पर पहुंचने के साथ ही राजनीति गर्म रही। हालांकि Yogi Adityanath के नजदीकियों का कहना है कि यह दौरा पूरी तरह औपचारिक है जिसमें मुख्यतः कोरोना की दूसरी लहर में हुए प्रयास और तीसरी लहर की तैयारियों पर जानकारी दी जानी है। राज्य में कुछ केंद्रीय परियोजनाओं की गति बढ़ाने पर भी आग्रह किया जा सकता है। लेकिन शाह के साथ लगभग डेढ़ घंटे चली बैठक ने साफ संकेत दिए कि चर्चा राजनीति और चुनाव पर ज्यादा केंद्रित रही। Yogi Adityanath ने शाह को “प्रवासी संकट का समाधान” पर एक किताब भी सौंपी। बताने की जरूरत नहीं कि चुनाव में प्रवासी भी एक मुद्दा है और योगी यह संदेश देने से नहीं चूके कि उन्होंने प्रवासियों के लिए अच्छा काम किया है।