नई दिल्ली, । मणिपुर मुद्दे पर संसद के दोनों सदनों में घमासान मचा है। इसी मुद्दे पर केंद्र सरकार के खिलाफ विपक्ष आज अविश्वास प्रस्ताव लाया है। विपक्ष के अविश्वास प्रस्ताव को लोकसभा के अध्यक्ष ने मंजूरी दे दी है। मालूम हो कि कांग्रेस के सांसद गौरव गोगोई ने लोकसभा में केंद्र सरकार के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव का नोटिस दिया था। इस पर सरकार का बयान भी सामने आया है।
विपक्ष के अविश्वास प्रस्ताव पर क्या बोली सरकार
संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने विपक्ष पर हमला किया है। प्रह्लाद जोशी ने कहा कि लोगों को पीएम मोदी और भाजपा पर भरोसा है। वे (विपक्ष) पिछले कार्यकाल में भी अविश्वास प्रस्ताव लाए थे। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि इस देश की जनता ने उन्हें (विपक्ष) सबक सिखाया है।
मणिपुर पर चर्चा के लिए सरकार तैयार
इस मामले पर केंद्रीय मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने कहा कि उन्हें(विपक्ष) अविश्वास प्रस्ताव लाने दीजिए। हम हर परिस्थिति के लिए तैयार हैं। हम तो चाहते हैं कि मणिपुर पर चर्चा हो।
केंद्रीय मंत्री अर्जुन राम मेघवाल ने कहा
अविश्वास प्रस्ताव आने दीजिए, सरकार हर स्थिति के लिए तैयार है। हम मणिपुर पर चर्चा चाहते हैं। उन्होंने कहा कि सत्र शुरू होने से पहले वे चाहते थे चर्चा। जब हम सहमत हुए, तो उन्होंने नियमों का मुद्दा उठाया। जब हम नियमों पर सहमत हुए, तो वे नया मुद्दा लेकर आए कि पीएम आएं और चर्चा शुरू करें। मुझे लगता है कि ये सभी बहाने हैं।
नंबर गेम में कहां खड़ा है विपक्ष?
लोकसभा में आंकड़ों पर गौर करें तो विपक्ष को एक फिर मुंह की खानी पड़ेगी, क्योंकि लोकसभा में एनडीए मजबूत स्थिति में है। लोकसभा में अकेले भाजपा के पास 301 सांसद हैं। वहीं, एनडीए की बात करें तो 333 सांसदों को समर्थन उसे प्राप्त है। विपक्ष संख्या में काफी पीछे है। ‘इंडिया’ गठबंधन के पास कुल 142 सांसद ही हैं। सबसे ज्यादा 50 सांसद कांग्रेस के पास हैं।
17वीं लोकसभा अभी तक नहीं आया है अविश्वास प्रस्ताव
बता दें कि 17वीं लोकसभा में मोदी सरकार के खिलाफ अभी तक कोई अविश्वास प्रस्ताव नहीं आया है। 16वीं लोकसभा में मोदी सरकार के खिलाफ 20 जुलाई 2018 को अविश्वास प्रस्ताव लाया गया था, जिसमें एनडीए सरकार ने अविश्वास प्रस्ताव को 126 के मुकाबले 325 वोटों से शिकस्त दी थी।