वरासत दर्ज अभियान में हुए ६५७ निर्विवाद विरासत के वारिसानों के नाम
अपर मुख्य सचिव एवं जिले के नोडल अधिकारी डॉक्टर देवेश चतुर्वेदी ने सोमवार को सर्किट हाउस सभागार में जिलाधिकारी, मुख्य विकास अधिकारी व अन्य जनपद स्तरीय अधिकारियों के साथ बैठक कर विकास कार्यों के प्रगति की समीक्षा की। बैठक में बताया गया कि निर्विवाद वरासत दर्ज अभियान के तहत अब तक १५४३ आवेदन पत्र प्राप्त हुए हैंए जिसमें जांच पड़ताल कर ६५७ वरासत उनकी वारिसानो के नाम दर्ज हो चुकी है। ३० दिसंबर, २०२० तक आवेदन प्राप्त किए जाएंगे। प्राप्त आवेदनों पर १५ दिन में लेखपाल द्वारा जांच कर आख्या दी जाती है। निर्विवाद होने पर वारिसान के नाम दर्ज होती है। विवाद की स्थिति में राजस्व निरीक्षक जांच करता है और फिर भी विवाद रहता है तो सीधे ऑटोमेटिक तहसीलदार कोर्ट में प्रकरण दाखिल हो जाता है। जिसका निस्तारण न्याय प्रक्रिया से होता है। बताया गया कि इस अभियान से पूर्व जिला प्रशासन द्वारा वरासत दर्ज की विशेष पहल कर ५३६९ वारिसान दर्ज की जा चुकी है। सिंचाई विभाग की समीक्षा में बताया गया कि नहरों की शत.प्रतिशत सिल्ट सफाई होकर पानी चालू हो गया है।
जनपद में ६१ टेले हैं, लगभग सात-आठ दिन में सभी टेलो तक पानी पहुंच जाएगा। जिले में ७९२ नलकूप हैं, जिसमें अस्थाई रूप से १५ खराब है। जो शीघ्र ठीक हो जाएंगे। समस्त नलकूप क्रियाशील है। अपर मुख्य सचिव ने निर्देशित किया कि नहरों की जिस गांव में टेल है तथा जिस गांव में नलकूप स्थापित हैए खंड विकास अधिकारी के माध्यम से उन गांव के ग्राम स्तरीय अधिकारी द्वारा प्रत्येक पाक्षिक रूप से टेलो में पानी पहुंचने व नलकूप के संचालित होने का सत्यापन पूरे रबी फसल में कराया जाता रहे। विद्युत विभाग के अभियंता ने बताया कि ग्रामीण क्षेत्रों में २३ घंटे विद्युत आपूर्ति हो रही है। खराब ट्रांसफार्मर तत्काल बदल दिया जाता है। स्वामित्व योजना में ड्रोन से सर्वे का कार्य हो रहा है। खाद व बीज की समुचित उपलब्धता है। अपर मुख्य सचिव ने बैठक से ही लखनऊ फोन कर बनारस के लिए एडवांस में ही एक और रैक खाद को उपलब्ध कराने की बात भी की। जनपद में तहसील दिवस, समाधान दिवस के आयोजन हो रहे हैं। जिनमें जन शिकायतों का निस्तारण प्राथमिकता पर किया जा रहा है। बैठक में जिलाधिकारी कौशल राज शर्मा, मुख्य विकास अधिकारी मधुसूदन हुलगी सहित अन्य जनपद स्तरीय विभागीय अधिकारी प्रमुख रूप से उपस्थित रहे।