हाजीपुर में अस्थायी डिटेंशन सेंटर बनेगा
पटना (आससे)। बिहार में अवैध रूप से रह रहे विदेशियों के बारे में राज्य सरकार क्या कर रही है। सरकार इन लोगों के रखने के लिए कहां और कब तक स्थायी डिटेंशन सेंटर बनायेगी। स्थायी डिटेंशन सेंटर में क्या-क्या सुविधाएं उपलब्ध करायेगी। इन बातों की पूरी जानकारी दो सप्ताह के भीतर देने का आदेश पटना हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को दिया है।
मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति संजय करोल और न्यायमूर्ति एस. कुमार की खंडपीठ ने मामले पर सुनवाई की। सुनवाई के दौरान कोर्ट ने सरकार से जानना चाहा कि प्रदेश में अवैध रूप से रह रहे विदेशियों के बारे में उन्हें जानकारी है या नहीं। कोर्ट ने यह भी जानना चाहा कि अवैध विदेशियों को रखने के लिए सरकार की क्या व्यवस्था है। अवैध रूप से रह रहे विदेशियों की पहचान करने के लिए लोगों को जागरूक करने के बारे में क्या कदम उठाए गए हैं। कोर्ट ने सरकार को अखबार में इश्तेहार प्रकाशित करने का निर्देश दिया। कोर्ट ने यह भी कहा कि अवैध रूप से रह रहे विदेशियों के बारे में लोग कहां शिकायत करें, इस बारे में भी लोगों को जानकारी देने का काम सरकार करे।
वहीं, राज्य सरकार की ओर से कोर्ट को बताया गया कि फिलहाल हाजीपुर में विदेशियों को रखने के लिए अस्थायी डिटेंशन सेंटर बनाया जायेगा। बाद में सरकार स्थायी डिटेंशन सेंटर बनायेगी। सरकार ने यह भी जानकारी दी कि अवैध रूप से आईं तीन बांग्लादेशी महिलाओं को वापस भेज दिया गया है।
किसी भी देश में अवैध अप्रवासियों (दूसरे देश से आए नागरिक) को रखने के लिए जो जगह बनाई जाती है उसे डिटेंशन सेंटर कहते हैं। इसमें किसी व्यक्ति को तब तक रखा जाता है, जबतक कि वह अपनी नागरिकता साबित नहीं कर दे।