मुख्यमंत्री ने विधि व्यवस्था एवं मद्य निषेध के क्रियान्वयन से संबंधित उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक की
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- अपराध नियंत्रण में किसी प्रकार की कोताही न हो
- राजधानी पटना में शराबबंदी के क्रियान्वयन पर विशेष नजर रखें
- अपराध अनुसंधान कार्य में तेजी लायें
- जब्त शराब के विनष्टीकरण के लिए तेजी से काम करें
- अधिकारियों को दिये आवश्यक दिशा निर्देश
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(आज समाचार सेवा)
पटना। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि विधि व्यवस्था सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है, अपराध नियंत्रण में किसी प्रकार की कोताही न हो। उन्होंने कहा कि अपराध अनुसंधान कार्य में तेजी लाएं और इसे ससमय पूर्ण करें ताकि दोषियों पर जल्द कार्रवाई हो सके। उन्होंने कहा कि रात्रि गश्ती, पैदल गश्ती में किसी प्रकार की लापरवाही न हो, वरीय पदाधिकारी भी इसकी अपने स्तर पर मॉनिटरिंग करें।
श्री कुमार एक अणे मार्ग स्थित लोक संवाद में विधि व्यवस्था एवं मद्य निषेध के क्रियान्वयन से संबंधित उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक कर रहे थे। उन्होने अधिकारियों को आवश्यक दिशा निर्देश दिए। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि विधि व्यवस्था सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है, अपराध नियंत्रण में किसी प्रकार की कोताही न हो। उन्होंने कहा कि अपराध अनुसंधान कार्य में तेजी लाएं और इसे ससमय पूर्ण करें ताकि दोषियों पर जल्द कार्रवाई हो सके। उन्होंने कहा कि रात्रि गश्ती, पैदल गश्ती में किसी प्रकार की लापरवाही न हो, वरीय पदाधिकारी भी इसकी अपने स्तर पर मॉनिटरिंग करें।
मुख्यमंत्री ने कहा कि जमीन से संबंधित आपसी विवाद को खत्म करने के लिए महीने में एक बार जिलाधिकारी एवं पुलिस अधीक्षक, 15 दिनों में एक बार एसडीपीओ तथा सप्ताह में एक दिन अंचल अधिकारी एवं थानाध्यक्ष की नियमित रुप से होने वाली बैठकों में समस्याओं के त्वरित निष्पादन हेतु कार्य हो।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रशासन और पुलिस ने पूरी मुस्तैदी के साथ राज्य में सांप्रदायिक घटनाओं को नियत्रित रखा है, आगे भी इसी तरह सक्रियता बनाए रखें। उन्होंने कहा कि रात्रि गश्ती सहित अन्य विधि व्यवस्था से संबंधित कार्यों का वरीय पदाधिकारी रात्रि में औचक निरीक्षण करें।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राजधानी पटना में शराबबंदी के क्रियान्वयन पर विशेष नजर रखें, गड़बड़ी करने वालों को चिन्हित कर उन पर कार्रवाई करें। जहरीली शराब की रोकथाम के लिए भी जिलाधिकारी विशेष चौकसी बरतें, इसमें लिप्त लोगों को चिन्हित कर कड़ी कार्रवाई करें। उन्होंने कहा कि ड्रोन, मोटर बोट, स्वान दस्ता एवं आधुनिक तकनीकों का प्रयोग कर सधन छापेमारी कार्य को योजनाबद्ध ढंग से अंजाम देते रहें ताकि कोई भी धंधेबाज बच नहीं पाये।
मुख्यमंत्री ने कहा कि जब्त शराब के विनष्टीकरण के लिए तेजी से काम करें। विशेष लोक अभियोजकों के कार्यों की समीक्षा करें और शिथिलता बरतने वालों के खिलाफ कार्रवाई करें। मुख्यमंत्री ने कहा कि बिहार के लोगों की मानसिकता अच्छी है, सीमित लोग गड़बड़ी करने वाले हैं उन पर विशेष नजर रखें ताकि वो किसी प्रकार की गड़बड़ी नहीं कर पाएं।
उन्होंने कहा कि शराबबंदी से बिहार के लोगों को काफी फायदा हो रहा है। राज्य में शराबबंदी के बाद दूध, सब्जी, मिठाई, फल आदि चीजों की खपत बढ़ी है। उन्होंने कहा कि नीरा उपयोगी है इसे प्रचारित करें तथा इसके उत्पादन को बढ़ाने के लिए तेजी से काम करें।
बैठक में अपर पुलिस महानिदेशक मुख्यालय ने प्रस्तुतीकरण के माध्यम से गश्ती वाहन, पैदल गश्ती, क्षेत्रीय विधि विज्ञान प्रयोगशाला का निर्माण कार्य, स्पीडी ट्रायल में तेजी, भूमि विवाद निपटारा, कब्रिस्तान की घेराबंदी आदि के संबंध में विस्तृत जानकारी दी। अपर पुलिस महानिदेशक विशेष शाखा ने प्रस्तुतीकरण के माध्यम से सोशल मीडिया पर आपत्तिजनक टिप्पणी/पोस्ट पर कार्रवाई, सांप्रदायिक घटनाओं पर नियंत्रण, साइबर क्राइम पर कार्रवाई आदि के संबंध में विस्तृत जानकारी दी। अपर पुलिस महानिदेशक विधि व्यवस्था ने प्रस्तुतीकरण के माध्यम से भूमि विवाद के निपटारे हेतु बैठकों की कार्रवाई, अनुसंधान कार्य, पिछले दिनों आपराधिक घटनाओं की जॉच की प्रगति रिपोर्ट आदि के संबंध में विस्तृत जानकारी दी।
बैठक में मद्य निषेध, उत्पाद एवं निबंधन विभाग के अपर मुख्य सचिव श्री के. के. पाठक ने प्रस्तुतीकरण के माध्यम से शराब के धंधों में लिप्त लोगों के यहां छापेमारी, गिरफ्तारी, वाहन जब्ती, शराब की जब्ती, शराब विनष्टीकरण, ड्रोन, मोटर बोट, स्वान दस्ता आदि के माध्यम से छापेमारी अभियान, कॉल सेंटर में आने वाले कॉलों को लेकर हो रही कार्रवाई, जहरीली शराब से होने वाली मृत्यु को लेकर दोषियों पर कार्रवाई आदि के संबंध में जानकारी दी। उन्होंने बताया कि प्रतिदिन औसतन 1,800 छापेमारी, 350 गिरफ्तारियां और 50 वाहन तथा 13 हजार लीटर शराब पकड़े जा रहे हैं।