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शिक्षा का तालिबानीकरण नहीं होने देंगे, कर्नाटक में जारी हिजाब विवाद पर प्रदेश भाजपा अध्यक्ष की चेतावनी


बेंगलुरु, । कर्नाटक के उडुपी जिले के एक कालेज से शुरू हुआ हिजाब का विवाद सियासी रंग लेते जा रहा है। भाजपा ने साफ कर दिया है कि राज्य में शिक्षा व्यवस्था का तालिबानीकरण नहीं करने दिया जाएगा। शिक्षण संस्थानों में सभी छात्रों को एक समान ड्रेस कोड के नियम का पालन करना होगा। वहीं प्रदेश कांग्रेस ने कहा है कि हर किसी को अपने धर्म के मुताबिक कपड़े पहनने का अधिकार है। कांग्रेस ने इसे मुस्लिम लड़कियों को शिक्षा से वंचित करने की भाजपा और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की साजिश बताया है।

हिजाब पहनकर कक्षा में बैठने पर रोक

पिछले महीने उडुपी के सरकारी प्री-यूनिवर्सिटी कालेज (पीयू कालेज) में पांच लड़कियों को हिजाब पहनकर कक्षा में बैठने से रोक दिया था। उसके बाद ही यह विवाद शुरू हुआ था। इन लड़कियों ने कालेज में हिजाब पहनने पर पाबंदी के खिलाफ कर्नाटक हाई कोर्ट में याचिका दायर की है, जिस पर आठ फरवरी को सुनवाई होनी है।

सियासत तेज

कक्षाओं में हिजाब पहनने की गुंजाइश नहीं

प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष नलिन कुमार कटील ने शनिवार को यहां संवाददाताओं से कहा, ‘इस तरह की चीजों (कक्षाओं में हिजाब पहनने) की कोई गुंजाइश नहीं है। हमारी सरकार कठोर कार्रवाई करेगी। लोगों को विद्यालय के नियमों का पालन करना होगा। हम (शिक्षा व्यवस्था के) तालिबानीकरण की अनुमति नहीं देंगे।’

हिजाब की मांग पूरी होने पर स्कूल में मस्जिद बनाने की मांग करेंगे

विजयपुरा के भाजपा विधायक बासनगौड़ा पाटिल यतनाल ने आरोप लगाया, ‘यदि एक बार उनकी मांग पूरी कर ली गई तो वे बाद में बुर्का पहनने देने की अनुमति मांगेंगे और उसके बाद स्कूल के अंदर मस्जिद बनाने की। ये मांगें बढ़ती ही रहेंगी। उनका समर्थन करने वाले वास्तव में गद्दार हैं।’

‘जिन्हें हिजाब पहनना है पाकिस्तान जाएं’

शैक्षणिक संस्थानों में शिक्षा की देवी सरस्वती और भगवान गणेश की मूर्ति की पूजा किए जाने को लेकर पूछे गए एक सवाल के जवाब में यतनाल ने कहा, ‘यह भारत है और हमारे देश की स्थापना भारतीय संस्कृति के आधार पर हुई है। हम धर्म के आधार पर उन्हें पहले ही पाकिस्तान दे चुके हैं, ताकि वे हिजाब पहन सकें।’

‘शरिया कानून लाना चाहते हैं हिजाब समर्थक’

राज्य से भाजपा सांसद प्रताप सिम्हा ने भी कहा कि स्कूल और कालेज में हिजाब पहनने की मांग करने वाले शरिया कानून लाना चाहते हैं। वहीं राज्य के मंत्री वी. सुनील कुमार ने भी कहा कि सभी को सरकारी परिसरों में समान व्यवस्था का आदर करना चाहिए। मुस्लिम लड़कियां स्कूल परिसर से बाहर तक तो हिजाब या बुर्का पहन सकती हैं, परिसर के अंदर नहीं।

‘मुस्लिम लड़कियों को शिक्षा से दूर रखने की साजिश’

राज्य के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस विधायक दल के नेता सिद्दरमैया ने कक्षाओं में मुस्लिम लड़कियों के हिजाब पहने के अधिकार का समर्थन करते हुए कहा कि भाजपा और संघ हिजाब के नाम पर मुस्लिम लड़कियों को शिक्षा से दूर रखना चाहते हैं। प्रधानमंत्री बेटी पढ़ाओ, बेटी बचाओ की बात करते हैं, क्या वह इस मामले से अनजान हैं। संविधान सभी लोगों को अपने धर्म के अनुसार कपड़े पहनने की अनुमति देता है।