नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ (सीडीएस) के पद पर नियुक्ति के लिए नियमों में संशोधन करते हुए बड़ा बदलाव किया है। इस बदलाव के तहत अब तीनों सेनाओं के लेफ्टिनेंट जनरल स्तर के सेवारत और रिटायर अधिकारियों के लिए भी सीडीएस बनने का रास्ता साफ कर दिया है। रक्षा मंत्रालय ने नियमों में संशोधन से जुड़ी अधिसूचना जारी कर दी है। सरकार के इस कदम के बाद माना जा रहा कि अब नए सीडीएस की नियुक्ति की प्रक्रिया भी जल्द शुरू होगी। ज्ञात हो कि देश के पहले सीडीएस जनरल बिपिन रावत की पिछले साल आठ दिसंबर को हवाई दुर्घटना में मृत्यु के बाद से यह पद रिक्त है।
रक्षा मंत्रालय ने नियुक्ति से जुड़े नियमों में जो बदलाव किया है उसके बाद अब सीडीएस के लिए शीर्ष सैन्य अधिकारियों के चयन का दायरा बढ़ जाएगा। अभी तक तीनों सेनाओं के प्रमुखों के स्तर यानि जनरल रैंक का अधिकारी ही सीडीएस पद पर नियुक्ति के लिए पात्र था। लेकिन मंगलवार को रक्षा मंत्रालय की ओर से जारी नए नियम के अनुसार सीडीएस पद के लिए पात्र अधिकारियों का दायरा अब बड़ा होगा।
सेना के मौजूदा सेवारत और रिटायर लेफ्टिनेंट जनरल, वायुसेना के एयर मार्शल ओर नौसेना के वाइस एडमिल स्तर के अधिकारी नये नियम के अनुसार सीडीएस बनने के पात्र होंगे। लेफ्टिनेंट जनरल तीनों सेनाओं के प्रमुखों से एक रैंक नीचे, एयर मार्शल वायुसेना प्रमुख से एक रैंक नीचे और वाइस एडमिरल नौसेना प्रमुख से एक रैंक नीचे का पद है। इससे साफ है कि नए नियम के हिसाब से सेवारत सैन्य प्रमुखों को सुपरसीड करके योग्य उम्मीदवार को सीडीएस बनाया जा सकता है।