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इमरान खान को गिरफ्तार किया जाएगा या नहीं, कोर्ट आज सुनाएगी फैसला


इस्लामाबाद, पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान गिरफ्तार होंगे या नहीं, इस पर आज कोर्ट का फैसला आना है, लेकिन उसके पहले पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ (PTI) के सैकड़ों समर्थकों ने शुक्रवार को उनके घर को घेर लिया। इमरान खान पर प्रधानमंत्री रहते हुए मिले सरकारी उपहारों को बेचने का आरोप है।  वहीं, उन्होंने इन आरोपों से इनकार किया है।

घर के बाहर डटे पीटीआई समर्थक

प्रत्यक्षदर्शियों ने कहा कि इमरान खान को गिरफ्तार करने के लिए पुलिस भले ही नहीं पहुंची है, लेकिन उनके समर्थक डंडों और लोहे की छड़ों से लैस होकर घर के बाहर डटे हुए हैं।

इस्लामाबाद हाईकोर्ट में दायर की याचिका

खान के सहयोगी फवाद चौधरी ने कहा कि उनकी पार्टी पाकिस्तान तहरीक-ए-इंसाफ ने शुक्रवार को इस्लामाबाद हाईकोर्ट में वारंट को निलंबित करने के लिए एक और याचिका दायर की थी, क्योंकि निचली अदालत ने एक दिन पहले इसी तरह की याचिका खारिज कर दी थी। उन्होंने कहा, “हमारे समर्थक इमरान खान के घर के बाहर हैं लेकिन मुझे नहीं लगता कि मामला चरम पर पहुंच जाएगा।”

अदालत के फैसले का इंतजार कर रही पुलिस

प्रांतीय सरकार के सूचना मंत्री आमिर मीर ने कहा कि पुलिस कोई कार्रवाई करने से पहले वारंट पर अदालत के फैसले का इंतजार कर रही है। इससे पहले, मंगलवार और बुधवार को हुई हिंसा में प्रदर्शनकारियों ने पेट्रोल बम फेंके थे, जिसके जवाब में  सुरक्षा बलों ने आंसू गैस और पानी की बौछारों का इस्तेमाल किया।

सरकारी उपहारों को अवैध रूप से बेचने का आरोप

गिरफ्तारी वारंट इस्लामाबाद की एक अदालत द्वारा जारी किया गया था, जब 70 वर्षीय खान, 2018 से 2022 तक प्रधानमंत्री रहने के दौरान विदेशी व्यक्तियों द्वारा उन्हें दिए गए राज्य के उपहारों को अवैध रूप से बेचने के आरोपों में पेश होने में विफल रहे। पाकिस्तान के चुनाव आयोग ने उन्हें दोषी पाया और सार्वजनिक पद संभालने से रोक दिया था।

खान ने कहा कि वह एक लिखित हलफनामा जमा करने को तैयार हैं कि वह शनिवार को स्वेच्छा से अदालत के सामने पेश होंगे, लेकिन अदालत ने कहा कि ऐसा हलफनामा अपर्याप्त है। यह स्पष्ट नहीं था कि शुक्रवार को अदालत की सुनवाई इसे ध्यान में रखेगी या नहीं।

पिछले साल से शुरू हुई कार्रवाई

खान के खिलाफ कानूनी कार्रवाई पिछले साल की शुरुआत में पद से बेदखल किए जाने के बाद शुरू हुई थी। तब से, वह मध्यावधि चुनाव की मांग कर रहे हैं और राष्ट्रव्यापी विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। उन रैलियों में से एक में उन्हें गोली मारकर घायल कर दिया गया था। वहीं, वर्तमान प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने खान की मांगों को खारिज कर दिया है। उनका कहना है कि इस साल के अंत में चुनाव निर्धारित किया जाएगा।