News TOP STORIES नयी दिल्ली राष्ट्रीय

कभी भाई को CM बनाने के लिए कांग्रेस से लड़ गई थी, आज थाम लिया उसी का हाथ;


नई दिल्ली। कहते हैं कि राजनीति में कभी भी कुछ भी निश्चित नहीं है और ये बात काफी हद तक सच भी है। आंध्र प्रदेश के सीएम वाईएस जगन मोहन रेड्डी की बहन गुरुवार को कांग्रेस में शामिल हो गईं। इसके साथ ही उन्होंने अपनी पार्टी वाईएसआर तेलंगाना पार्टी का भी कांग्रेस में विलय कर दिया। जगन मोहन वाईएसआर कांग्रेस के भी अध्यक्ष हैं। शर्मिला ने ‘हाथ’ थामकर अपने भाई की ही मुश्किलें बढ़ा दी हैं।

कौन हैं वाईएस शर्मिला?

वाईएस शर्मिला का जन्म साल 1974 में जगन मोहन रेड्डी और विजयम्मा के घर हुआ था। राजनीति उन्हें विरासत में मिली। दरअसल, शर्मिला के पिता जगन मोहन रेड्डी अविभाजित आंध्र प्रदेश के सीएम रह चुके हैं। तब वह कांग्रेस में थे। साल 2009 में हुए हेलीकाप्टर क्रैश में उनका निधन हो गया था। तत्कालीन सीएम के निधन के बाद जगन मोहन के बेटे वाईएस जगन को सीएम बनाए जाने की चर्चा थी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ।

जगन मोहन रेड्डी ने साल 2012 में अपनी नई पार्टी वाईएसआर कांग्रेस का गठन किया। कांग्रेस के कुछ विधायक भी इसमें शामिल हो गए। हालांकि, कुछ ही महीनों बाद जगन को भ्रष्टाचार के आरोपों के चलते जेल जाना पड़ा। उस वक्त मां विजयम्मा और बहन शर्मिला अपने भाई के साथ खड़ी रहीं।

मुश्किल वक्त में भाई के साथ खड़ी रही शर्मिला

जगन मोहन के जेल जाने के बाद शर्मिला ने पार्टी को प्रदेश में और मजबूती देने का काम किया। हजारों किमी तक उन्होंने पैदल यात्रा निकाली। पदयात्रा से वाईएसआर कांग्रेस का आंध्र प्रदेश में जनाधार भी बढ़ा। उस दौरान 10 विधानसभा सीटों पर उपचुनाव हुए थे। इनमें से 15 सीटों पर वाईएसआर कांग्रेस को जीत मिली। एक लोकसभा सीट भी पार्टी की झोली में आई। साल 2019 में हुए विधानसभा चुनाव में जगन मोहन की पार्टी चुनाव जीत गई और वह सीएम बन गए।

जगन मोहन के सीएम बनने के बाद उनके बहन के साथ मतभेद होने लग गए। साल 2021 में उन्होंने अपनी नई पार्टी वाईएसआर तेलंगाना बना दी। उन्होंने इसे तेलंगाना में लॉन्च किया। उनकी मां विजयम्मा भी बेटे की पार्टी छोड़कर अपनी बेटी शर्मिला की पार्टी में आ गई थीं।

तेलंगाना चुनाव में कांग्रेस का समर्थन

हाल ही में हुए तेलंगाना विधानसभा चुनाव में शर्मिला की पार्टी ने इसमें हिस्सा नहीं लिया और कांग्रेस का समर्थन कर दिया। शर्मिला 4 फरवरी को जब कांग्रेस ज्वाइन कर रही थी, तब उन्होंने कहा, ‘मैं कांग्रेस पार्टी को समर्थन दे रही हूं, क्योंकि कांग्रेस के पास तेलंगाना विधानसभा चुनाव में जीतने की संभावना है। केसीआर ने अपने 9 साल के कार्यकाल में लोगों से किए गए किसी भी वादे को पूरा नहीं किया है।’

तेलंगाना में कांग्रेस ने पहली बार सरकार बना ली है। वाईएस शर्मिला के इसमें शामिल होने के बाद कांग्रेस पड़ोसी राज्य आंध्र प्रदेश में अपनी स्थिति और मजबूत कर सकती है।