मंगलुरु, । कर्नाटक में हिजाब को लेकर विवाद थम नहीं रहा। गुरुवार को उडुपी के एमजीएम कालेज में हिजाब पहनकर आई छात्राओं को प्रिंसिपल ने कालेज परिसर से बाहर जाने के लिए कह दिया। इन पोस्ट ग्रेजुएट छात्राओं का कहना है कि हिजाब पहनकर आने पर उन्हें कालेज परिसर में प्रवेश की अनुमति नहीं दी गई। कक्षा में नहीं जाने दिया गया। यह हाईकोर्ट के आदेश का उल्लंघन है। छात्राओं ने कहा है कि इस तरह से वे हिजाब विवाद के चलते परीक्षाओं में भी शामिल नहीं हो पाएंगी। इन छात्राओं की प्रयोगात्मक परीक्षाएं 28 फरवरी से शुरू होने वाली हैं। उन्होंने प्रदेश सरकार से अपनी परीक्षाएं फिलहाल स्थगित करने की मांग की है।
सिख छात्रा को बिना पगड़ी के कालेज आने को कहा
बेंगलुरु के एक कालेज के प्रशासन ने एक अमृतधारी सिख छात्रा से कालेज में बिना पगड़ी के आने के लिए कहा है। कालेज प्रशासन ने यह बात हिजाब प्रकरण में हाल ही में कर्नाटक हाईकोर्ट के अंतरिम आदेश का हवाला देते हुए कही है। हाईकोर्ट ने अपने अंतरिम आदेश में सभी तरह के धार्मिक चिह्नों के बगैर कालेज आकर कक्षा में पढ़ाई करने के लिए कहा है। छात्रा के परिवार ने कहा है कि हाईकोर्ट के अंतरिम आदेश में सिखों की पगड़ी को लेकर कोई बात नहीं कही गई है। परिवार ने कहा है कि उनकी बेटी पगड़ी नहीं उतारेगी। इस बारे में कानूनी विकल्पों पर विचार किया जा रहा है।