Post Views: 784 विष्णुगुप्त अमानतुल्लाह खानकी बयानबाजीपर भारतीय राजनीतिकी चुप्पी और सोशल मीडियापर धमकीको व्यापक समर्थन मिलना चिन्तित करता है। आम तौरपर यह माना जाता है कि लोकतांत्रिक व्यवस्थामें जहांपर संविधान सर्वश्रेष्ठ होता है वहां किसी भी समस्याका समाधान संविधान है। यदि कोई विचार या फिर हिंसा संविधानको चुनौती देनेवाले होते हैं तो उसपर राजनीति […]
Post Views: 632 डा. जगदीश सिंह दीक्षित आज जिस तरहसे कोरोना वायरससे उत्पन्न हुई महामारीके कारण पूरी मानवता खतरेमें पड़ गयी है, उसे देखकर लोगोंका मन काफी विचलित हो रहा है। लोगोंमें इसके बढ़ते प्रभाव और उससे उत्पन्न खतरेके कारण स्वाभाविक रूपसे भय और मानसिक तनावकी स्थिति उत्पन्न हो रही है। कुछ लोगोंका आत्मविश्वास मजबूत […]
Post Views: 780 डा. अजय खेमरिया राम मानवताकी सबसे बड़ी निधि है। वह संसारमें अद्वितीय प्रेरणापुंज है। वह शाश्वत धरोहर है मानवीय सभ्यता, संस्कृति और लोकजीवनके। राम जीवनके ऐसे आदर्श हैं जो हर युगमें सामयिकताके ज्वलन्त सूर्यकी तरह प्रदीप्त है। मर्यादाशील, संयम, त्याग, लोकतंत्र, राजनय, सामरिक शास्त्र, वैश्विक जबाबदेही, सामाजिक लोकाचार, परिवार प्रबोधन, आदर्श राज्य […]