जम्मू, : जम्मू-कश्मीर परिसीमन आयोग ने केंद्र शासित प्रदेश में परिसीमन के लिए तैयार की गई अपनी अंतिम रिपोर्ट पर हस्ताक्षर करने के बाद उसे जारी कर दिया। रिपोर्ट जारी करने से पहले आयोग के सदस्यों ने नई दिल्ली में बैठक भी की, जिसके बाद रिपोर्ट को जारी कर दिया गया। आपको बता दें कि आयोग का कार्यकाल शुक्रवार को समाप्त हो रहा है। कार्यकाल समाप्त होने के एक दिन पहले परिसीमन आयोग ने जम्मू-कश्मीर के विधानसभा क्षेत्रों के परिसीमन पर तैयार की गई अपनी अंतिम रिपोर्ट को जारी कर दिया।
आपको बता दें कि फाइनल रिपोर्ट बनाने से पहले परिसीन आयोग के सदस्यों ने जम्मू व कश्मीर का दौरा कर राजनीतिक, सामाजिक, धार्मिक संगठनों के अलावा आम लोगों के सुझाव भी लिए थे। रिपोर्ट जारी होने के साथ ही अब जम्मू-कश्मीर में विधानसभा चुनाव कराए जाने का रास्ता भी प्रशस्त हो गया है। हांलाकि विधानसभा चुनावों की घोषणा चुनाव आयोग करेगा और अगर अधिकारिक सूत्रों पर भरोसा किया जाए तो इस साल के अंत तक यहां चुनाव करवाने की घोषणा हो सकती है। परिसीमन आयोग की कार्रवाई के दौरान से ही विभिन्न राजनीतिक दलों ने अपने-अपने तौर पर चुनावों की तैयारियां शुरू कर दी थी।
आपको जानकारी हो कि जम्मू-कश्मीर विधानसभा क्षेत्रों का परिसीमन करवाने के इरादे से केंद्र सरकार ने आयोग का गठन मार्च 2020 में किया था। कोरोना महामारी के कारण आयोग अपना काम समय पर पूरा नहीं कर पाया जिसकी वजह से इसका कार्यकाल दो बार बढ़ाया गया। अपने इस दो साल के कार्यकाल के दौरान आयोग के सदस्यों ने जम्मू कश्मीर का दो बार दौरा भी किया है।
परिसीमन की प्रक्रिया पूरी होने के बाद यहां सात विधानसभा सीटों में बढ़ोतरी होगी जिनमें जम्मू संभाग में छह जबकि कश्मीर संभाग में एक सीट शामिल है। यही नहीं आयोग ने अपनी रिपोर्ट में अनुसूचित जनजातियों के लिए नौ और अनुसूचित जातियों के सात सीटें भी आरक्षित की हैं। इसके अलावा कुछ विधानसभा सीटों पर कश्मीरी पंडितों व गुलाम कश्मीर रिफ्यूजियों को भी प्रतिनिधित्व मिल सकता है। आयोग की फाइल रिपोर्ट पेश होने के बाद जम्मू-कश्मीर विधानसभा की कुल सीटें 90 हो जाएंगी। इनमें कश्मीर संभाग में 47, जम्मू संभाग में 43 सीटें होंगी।