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दिल्ली के सरकारी स्कूलों से निकल रहे हैं स्टार्टअप आईडिया


 किसी भी बड़े परिवर्तन के लिए जरूरत होती है एक विचार की। एक छोटा सा विचार बड़े से बड़े परिवर्तन की आधारशिला बन सकता है। इसी विचार के साथ दिल्ली सरकार ने बिजनेस ब्लास्टर्स प्रोग्राम की शुरूआत की, जिसका उद्देश्य दिल्ली के सरकारी स्कूलों के छात्रों को खुद के स्टार्टअप के लिए प्रोत्साहित करना है। इस प्रोग्राम के तहत 11वीं व12वीं के लगभग 3 लाख बच्चों ने हिस्सा लिया।

क्या है बिजनेस ब्लास्टर्स प्रोग्राम

यह दिल्ली सरकार की एक खास पहल है जिसमें छात्रों को अपना खुद का स्टार्टअप शुरू करने के लिए प्रेरित किया जाता है। जिससे छात्र नौकरी ढूंढने की जगह नौकरी देने के लिए तैयार हो रहे हैं। इस प्रोग्राम से जुड़कर दिल्ली के सरकारी स्कूल के लगभग 3 लाख छात्रों ने 51 हजार नए बिजनेस आईडिया बनाए व उसपर काम किया। छात्रों को अपने बिजनेस आईडिया पर काम करने के लिए दिल्ली सरकार ने 60 करोड़ रुपए की सीडिंग कैपिटल भी प्रदान किया। सिर्फ यही नहीं अपना बिजनेस आईडिया तैयार करने के बाद छात्रों को उसे बड़े वेंचर कैपिटलिस्ट के सामने प्रदर्शित करने का भी मौका दिया गया।

छात्रों के स्टार्टअप को मिल रही फंडिंग

इस प्रोग्राम से जुड़कर छात्र कई बेहतरीन बिजनेस आईडिया लेकर आए व उनके बिजनेस आईडिया को वेंचर कैपिटलिस्ट द्वारा काफी सराहा गया। जिसके बाद उन्हें फंडिग व मेंटरशिप भी ऑफर की गयी। इसी क्रम में हमारी बात हुई शहीद हेमू कालाणी सर्वोदय बाल विद्यालय लाजपत नगर के छात्र व युवा बिजनेसमैन यश पटवाल से।

यश ने इंक फैमिली नाम से अपन स्टार्टअप शुरू किया। आजकल हर युवा खुद को ट्रेंड के साथ अपडेट रखना चाहता है। इसी विचार को यश ने अपना बिजनेस आईडिया बनाया और इंक फैमिली की नींव रखी। नौ लोगों की इस टीम को सीडिंग मनी के रूप मे 9 हजार रुपए मिले। साथ ही उन्हें एक मेंटर भी मिला जिसने यश व उनकी पूरी टीम को रिसर्च, मार्केटिंग, डिजाइन से जुड़ी सभी महत्वपूर्ण बातें बताई। इंक फैमिली के तहत यश मार्केट के ट्रेंड को ध्यान में रखते हुए कस्टमाइज कप, टीशर्ट आदि बनाते हैं। इसके लिए वो पहले अपने कस्टमर्स से ऑर्डर लेते हैं। ऑर्डर में प्राप्त एडवांस का इस्तेमाल रॉ मैटेरियल के लिए तो वहीं सीडिंग मनी का इस्तेमाल डिलीवरी के लिए किया जाता है।