नयी दिल्ली। कंपनियों द्वारा दिसंबर 2020 में 6.03 करोड़ माल एवं सेवा कर (जीएसटी) ई-इनवॉयस (ई-बिल) निकाले गए। एक आधिकारिक बयान में यह जानकारी दी गई है। यह आंकड़ा नवंबर से अधिक है। नवंबर में 5.89 करोड़ ई-इनवॉयस निकाले गए थे। सरकार ने 500 करोड़ रुपये से अधिक के कारोबार वाली इकाइयों के लिए एक अक्टूबर, 2020 से बी2बी लेनदेन के लिए इलेक्ट्रॉनिक इनवॉयस या ई-इनवॉयस निकालना अनिवार्य कर दिया है। सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने शनिवार को बयान में कहा कि जीएसटी ई-इनवॉयस प्रणाली जीएसटी प्रणाली में पासा पलटने वाली है। इसने अपनी तीन माह की यात्रा पूरी कर ली है। करदाता सुगमता से नए मंच से जुड़े हैं। बयान में कहा गया है कि नेशनल इन्फॉर्मेटिक्स सेंटर (एनआईसी) द्वारा विकसित ई-इनवॉयस प्रणाली से 37,000 से अधिक करदाताओं ने पिछले तीन माह के दौरान 16.80 करोड़ इनवॉयस रेफरेंस नंबर (आईआरएन) निकाले हैं। बयान के अनुसार, अक्टूबर, 2020 में 4.95 करोड़ ई-इनवॉयस निकाले गए। नवंबर में यह आंकड़ा बढ़कर 5.89 करोड़ और दिसंबर में 6.03 करोड़ पर पहुंच गया। एनआईसी द्वारा विकसित ई-वे बिल प्रणाली से सितंबर से दिसंबर, 2020 के दौरान पिछले वर्षों के समान महीनों की तुलना में अधिक ई-वे बिल निकाले गए। बयान में कहा गया कि इस प्रणाली को लेकर अच्छी प्रतिक्रिया मिला है। इस अवधि के दौरान आईआरएन निकालने में किसी तरह की दिक्कत नहीं आई है।