पटना

पटना: ‘गांव की सरकार’ के लिए तैयारियों में जुटा चुनाव आयोग


काउटिंग के दौरान सीसीटीवी से होगी निगरानी

पटना (आससे)। बिहार में पंचायत चुनाव को लेकर राज्य निर्वाचन आयोग ने तैयारी तेज कर दी है। संभावना है कि जुलाई के मध्य तक चुनाव आयोग सूबे में पंचायत चुनाव की तारीखों का ऐलान कर सकता है। हालांकि, इसकी घोषणा से पहले ही आयोग सभी विषयों पर ऐहतियाती कदम उठाने पर जोर दे रहा। इस बार पंचायत चुनाव ईवीएम और बैलेट पेपर दोनों से कराने का फैसला लिया गया है। ऐसे में आयोग ने वोटों की गिनती के दौरान हर गतिविधि पर नजर रखने के लिए वीडियोग्राफी के साथ-साथ मतगणना केंद्रों पर सीसीटीवी की व्यवस्था की योजना बनाई है।

बिहार पंचायत चुनाव में इस बार 4 पदों के लिए ईवीएम से और 2 पदों (सरपंच, पंच) के लिए बैलेट पेपर से मतदान की तैयारी है। पंचायत चुनाव साफ-सुथरा और शांतिपूर्ण कराने के लिए आयोग ने मुकम्मल तैयारी करने को कहा है। इस संबंध सभी जिलों के जिलाधिकारी सह निर्वाचन पदाधिकारियों की बैठक भी हो चुकी है। निर्वाचन आयोग ने जिलों के निर्वाचन पदाधिकारी को पंचायत चुनाव के संबंध में कई जरूरी निर्देश भी दिए हैं।

जानकारी के मुताबिक, बिहार पंचायत चुनाव में ईवीएम के इस्तेमाल के साथ ही उनके कंट्रोल यूनिट की वीडियोग्राफी होगी। साथ ही काउंटिंग के दौरान किसी भी तरह का कोई विवाद नहीं इसके लिए आयोग ने जिला निर्वाचन अधिकारियों को जरूरी तैयारी के लिए कहा है। काउंटिंग सेंटर में सीसीटीवी लगाए जाने के भी निर्देश दिए गए हैं। इन कदमों के पीछे की मुख्य वजह यही है कि अगर मतगणना के दौरान कोई विवाद होता है तो सीसीटीवी फुटेज और दूसरे सबूतों के जरिए इसका निपटारा किया जा सके।

निर्वाचन आयोग ने जिला निर्वाचन पदाधिकारियों को बूथों पर सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम करने को लेकर कहा है। साथ ही निर्देश दिया कि सुरक्षाकर्मी का रोटेशन हर फेज के लिए किया जाए। आयोग ने निर्देश दिया कि प्रत्येक सामान्य बूथ पर कम से कम 1/3 के आधार पर और नक्सल क्षेत्र के मतदान केंद्रों पर 2/8 के आधार पर सिक्योरिटी का इंतजाम किया जाए।

ध्यान रहे कि बिहार में पंचायत सदस्यों का कार्यकाल 16 जून को समाप्त हो गया, जिसके राज्य सरकार ने विकास कार्यों की देखरेख के लिए पंचायत सलाहकार समितियों का गठन किया। समितियां नए सदस्यों के निर्वाचित होने तक राज्य में पंचायतों की ओर से किए गए कार्यों की निगरानी करेंगी। निर्वाचन विभाग के एक अधिकारी के मुताबिक, इस साल मानसून ने बिहार में समय पर प्रवेश किया है। अगर चीजें अपेक्षित रास्ते पर चलती हैं, तो चुनाव की प्रक्रिया सितंबर-अक्टूबर में शुरू हो जाएगी।