(आज शिक्षा प्रतिनिधि)
पटना। जेलों में भी महिलाओं ने बुनियादी साक्षरता परीक्षा दी। जेलों में बुनियादी साक्षरता परीक्षा देने वाली महिलाएं जब जेल गयीं थीं, तो पढऩा-लिखना नहीं जानतीं थीं। इसलिए कि असाक्षर थीं।
राज्य में महादलित, दलित एवं अल्पसंख्यक अतिपिछड़ा वर्ग की असाक्षर महिलाओं को साक्षर बनाने के लिए चल रही ‘महादलित, दलित एवं अल्पसंख्यक अतिपिछड़ा वर्ग अक्षर आंचल योजना’ के साक्षरता केंद्र जेलों में भी चल रहे हैं। जेलों में चलने वाले बुनियादी साक्षरता केंद्रों में साक्षरता का पाठ पढऩे वाली महिलाओं के लिए साक्षरता सामग्री उपलब्ध करायी जाती है।
जेल जाने के बाद असाक्षर महिलाओं ने वहां महादलित, दलित एवं अल्पसंख्यक अतिपिछड़ा वर्ग अक्षर आंचल योजना के साक्षरता केंद्र में पढऩा-लिखना शुरू किया। और, अब पूरी तरह से पढऩा-लिखना सीख कर साक्षर बन चुकीं हैं। इन नवसाक्षर महिलाओं की बुनियादी साक्षरता परीक्षा के लिए जेलों में ही परीक्षा केंद्र बनाये गये थे। बुनियादी साक्षरता परीक्षा रविवार को हुई है।
जन शिक्षा के सहायक निदेशक रमेश चंद्रा ने बताया बेगूसराय जेल में बुनियादी साक्षरता परीक्षा में शामिल नवसाक्षर महिलाओं में काफी उत्साह रहा। पटना सहित और भी कई जेलों में नवसाक्षर महिलाओं ने बुनियादी साक्षरता परीक्षा दी। बुनियादी परीक्षा संचालन के लिए भी परीक्षा सामग्री संबंधित जेलों के प्रशासन को उपलब्ध करायी गयी थी।