पटना

बिहारशरीफ: कोरोना पर प्रभावकारी नियंत्रण के लिए जिलाधिकारी ने छः कोषांगों का किया गठन


      • कोषांगों के लिए वरीय पदाधिकारी के साथ-साथ पदाधिकारी और कर्मी प्रतिनियुक्त
      • सभी कोषांगों के बीच कार्य का दायित्व भी किया गया तय

बिहारशरीफ (आससे)। जिले में कोरोना संक्रमण पर प्रभावकारी नियंत्रण के लिए जिला प्रशासन द्वारा लगातार पहल चल रही है। जिला पदाधिकारी योगेंद्र सिंह ने कोविड पर प्रभावकारी नियंत्रण के लिए कई प्रकार के कोषांगों का गठन करते हुए उनके लिये कार्य और दायित्व तय किया है। आदेश में कहा गया है कि एक दूसरे के संपर्क में आने से फैलने वाले कोरोना का संक्रमण जिले में तेजी से हो रहा है, जिसके लिए कोषांगों का गठन किया गया है।

होम क्वारेंटाइन कोषांग बनाया गया है, जिसका मुख्यालय जिला नजारत शाखा में रखा गया है। यह कोषांग ऐसे व्यक्तियों के लिए बनाया गया है जो बाहर से आ रहे है, किन्तू उनमें किसी प्रकार के फ्रलू के लक्षण नहीं है। इस कोषांग का कार्य ऐसे व्यक्तियों पर नजर रखना है तथा सुनिश्चित करना है कि वे होम क्वारेंटाइन में रह रहे है। इसके साथ ही किसी प्रकार के फ्रलू के लक्षण आने पर आइसोलेशन सेंटर कोषांग से संपर्क कर उस व्यक्ति को आइसोलेशन में शिफ्ट करना है। इसके वरीय प्रभारी पदाधिकारी एडीएम नौशाद अहमद को बनाया गया है और सहयोग में सीनियर डिप्टी कलक्टर गोपाल प्रसाद और अभिषेक कुमार को लगाया गया है। इस कोषांग में आईसीडीएस के जिला प्रोग्राम पदाधिकारी, मध्याह्न भोजन योजना के जिला कार्यक्रम पदाधिकारी, सहायक योजना पदाधिकारी तथा पौधा संरक्षण पर्यवेक्षक को शामिल किया गया है।

इसी प्रकार आइसोलेशन कोषांग का गठन किया गया है, जिसका दायित्व यह होगा कि फ्रलू के लक्षण वाले व्यक्तियों का रिकॉर्ड रखे। उसे आइसोलेशन सेंटर में शिफ्रट कराये और वहां उनपर नजर रखे। आवश्यकता के लिए जांच हेतु ट्रांसपोर्टेशन कोषांग से को-ऑर्डिनेट करे। इस कोषांग के वरीय पदाधिकारी डीडीसी राकेश कुमार बनाये गये है। सहयोग के लिए सीनियर डिप्टी कलक्टर अभिषेक कुमार के अलावे शशि कुमार, डीपीओ उदय शंकर प्रसाद तथा सहायक निदेशक बाल सरक्षण शैलेंद्र कुमार चौधरी को लगाया गया है। इस कोषांग का दायित्व विम्स पावापुरी में भर्ती व्यक्तियों का ब्योरा रखना भी होगा।

इसी प्रकार ट्रांसपोर्टेशन कोषांग बनाया गया है। इस कोषांग में ऐसे व्यक्तियों को मदद पहुंचाना है जिन्हें जांच के लिए पटना भेजा जाना है। ऐसे व्यक्तियों का रिकार्ड रखने, एंबुलेंस से पटना भेजाने, प्रतिनियुक्त कर्मियों से संपर्क करने का दायित्व सौंपा गया है। इसके वरीय पदाधिकारी के रूप में डीडीसी को नामित किया गया है जबकि सहयोग के लिए डीटीओ नालंदा को लगाया गया है। इसके अलावे नालंदा के एमभीआई, सर्व शिक्षा अभियान के अपर जिला कार्यक्रम समन्वयक तथा उद्योग विस्तार पदाधिकारी को लगाया गया है।

इसी प्रकार टेस्टिंग कोषांग का भी गठन किया गया है। यह कोषांग ऐसे व्यक्तियों के लिए बनाया गया है, जिनके संक्रमण की आशंका या पुष्टि हो चुकी हो। कोषांग का कार्य ऐसे व्यक्तियों का रिकॉर्ड रख उनके संपर्क में आये व्यक्तियों, उनके गांव, परिवार आदि को एसओपी के अनुसार पूर्णतः सेनिटाइज करने, संक्रमित व्यक्तियों को आइसोलेशन सेंटर में रखने आदि का दायित्व सौंपा गया है। यह कोषांग जिला स्वास्थ्य समिति में कार्य करेगा औरर इसके वरीय पदाधिकारी भी डीडीसी होंगे।

इस कोषांग में सिविल सर्जन को भी रखा गया है जबकि वरीय उप समाहर्ता अभिषेक कुमार श्रम अधीक्षक यदुवंश नारायण पाठक, डीपीएम ज्ञानेंद्र शेखर, सहायक औषधि नियंत्रक जावेदुल हक, औषधि निरीक्षक अजय कुमार सिंह को शामिल किया गया है। इसका मुख्य दायित्व संक्रमण की आशंका वाले व्यक्तियों को ट्रैकिंग करना होगा। कोविड 19 जांच में पॉजीटिव पाये गये व्यक्तियों का पूरा लेखा-जोखा रखना होगा। जांच का रिकॉर्ड रखना होगा। पॉजीटिव व्यक्तियों के संपर्क में आये व्यक्तियों की जांच आइसोलेशन में करवाना होगा।

इसी प्रकार कॉल सेंटर के लिए भी कोषांग बनाया गया है। इसमें डीडीसी के अलावे सिविल सर्जन को रखा गया है और सहयोग के लिए लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी शिशिर कुमार मिश्र, सीनियर डिप्टी कलक्टर अभिषेक कुमार, सीनियर डिप्टी कलक्टर सुश्री उपासना सिंह के अलावे औषधि निरीक्षक, मलेरिया निरीक्षक तथा फाइलेरिया निरीक्षक को शामिल किया गया है। इस कोषांग का दायित्व टेलीफोन के माध्यम से उन्हें चिकित्सीय परामर्श की व्यवस्था करनी होगी और आवश्यकता पड़ने पर घर जाकर मेडिकल टीम द्वारा अटेंड करने की कार्रवाई करनी होगी।

इसी प्रकार आइईसी कोषांग बनाया गया है, जो जिला सूचना एवं जनसंपर्क कार्यालय में काम करेगा। एडीएम इसके वरीय पदाधिकारी होंगे जबकि डीपीआरओ उनके सहयोग के लिए नामित किये गये है। इसके अलावे जिला खेल पदाधिकारी, जिला कार्यक्रम पदाधिकारी माध्यमिक शिक्षा तथा साक्षरता को लगाया गया है। इनका दायित्व जिला मुख्यालय, अनुमंडल मुख्यालय तथा प्रखंड मुख्यालय क्षेत्र में कोरोना पीड़ित मरीजों के इलाज एवं स्वास्थ्य विभाग के साथ-साथ गृह विभाग द्वारा समय-समय पर लिये गये सभी आवश्यक निर्देशों के संबंध में व्यापक प्रचार-प्रसार करना होगा।