नोबेल अस्पताल के खिलाफ त्वरित काररवाई का सीएस को निर्देश दिया
मुजफ्फरपुर। जिलाधिकारी प्रणव कुमार ने सिविल सर्जन को निर्देश दिया कि निजी अस्पतालों से संबंधित जांच प्रतिवेदन के आलोक में सख्त कार्रवाई करना सुनिश्चित करें। जांच के क्रम में नोबेल अस्पताल के विरुद्ध कार्रवाई की अनुशंसा के मद्देनजर सिविल सर्जन को त्वरित कार्रवाई करने का निर्देश दिया गया है।
साथ ही उक्त अस्पताल तथा वैसे सभी अस्पताल जो बिना परमिशन के कोविड का इलाज कर रहे हैं उनको डीलिस्ट करने का सख्त निर्देश सिविल सर्जन को दिया गया। जिलाधिकारी ने सिविल सर्जन को सख्त निर्देश दिया कि उक्त करवाई के साथ मरीजो के इलाज से सम्बंधित आवश्यक उपलब्ध संसाधनों (दवाओ/उपकरणों/ऑक्सीजन की उपलब्धता) के मद्देनजर गंभीरता पूर्वक अपने दायित्व का निर्वाहन करें।
वही वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से जिलाधिकारी ने सभी पीएचसी के प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारियों को निर्देशित किया कि प्रखंड स्तर पर कोविड मरीजों का नियमित फॉलोअप करने का कार्य जारी रखें। प्रखंड स्तर पर प्रत्येक पीएससी में प्रतिनियुक्त चिकित्सक तय रोस्टर के अनुरूप अपने दायित्वों का निर्वहन करें।पॉजिटिव पाए गए मरीजों को उपलब्ध कराए जाने वाले मेडिकल कीट की भी उन्होंने समीक्षा की।
वही सभी प्रखंड विकास पदाधिकारियों को निर्देशित किया गया कि वार्ड क्रियान्वयन एवं प्रबंधन समिति के सदस्यों के माध्यम से तथा विकास मित्रों के माध्यम से गांव/टोले या वार्डो के माध्यम से कोविड मरीज या वैसे लक्षण वाले मरीजों के बारे में तत्काल सूचना स्थानीय पीएचसी को दी जाए। उन्होंने कहा कि पंचायत और वार्ड स्तर पर कोविड संक्रमण से सुरक्षा के मद्देनजर लोगों को जागरूक करते रहें। लगातार माइकिंग कराई जाए साथ ही मास्क वितरण का भी सतत अनुश्रवण किया जाए।
जिलाधिकारी ने जिले में चल रहे टीकाकरण कार्य में और तेजी लाने का निर्देश दिया है। उन्होंने सेशन साइट बढ़ाने का निर्देश देते हुए कहा है कि केंद्र पर कोविड मानक का पालन सुनिश्चित किया जाए। जिला टीकाकरण अधिकारी ने बताया कि आज 87 साइट पर टीकाकरण का कार्य चल रहा है। वरीय अधिकारियों को टीकाकरण केंद्रों का नियमित विजिट करने का भी निर्देश दिया गया।
साथ ही निर्देश दिया गया कि वरीय अधिकारी नियमित रूप से कोविड का इलाज कर रहे सरकारी और निजी अस्पतालों का नियमित रूप से निरीक्षण कर स्वास्थ्य व्यवस्था का जायजा लें और उक्त संबंध में प्रतिवेदन भी उपलब्ध कराना सुनिश्चित करें। इसके साथ ही जिलाधिकारी द्वारा टेस्टिंग की संख्या में भी तेजी लाने का भी निर्देश दिया गया।