घरों में भी पानी घुसने का सिलसिला जारी है
शेखपुरा (आससे)। घाट कुसम्भा प्रखंड से होकर गुजरने वाली हरोहर नदी के जलस्तर बढ़ने का सिलसिला लगातार जारी है। नदी में जलस्तर लगातार बढ़ने का खामियाजा इस क्षेत्र के लोगों को भुगतना पड़ रहा है। नदी में उफान के कारण जहां हजारों बीघे में लगी फसल पूरी तरह जलमग्न हो चुकी है तो वहीं दूसरी तरफ कई गांवों में लोगों के घरों में भी पानी घुसने का सिलसिला लगातार जारी है। पिछले चौबीस घंटा में नदी का जलस्तर लगभग एक फिट और बढ़ गया है। जलस्तर में वृद्धि गंगा नदी में हो रही लगातर पानी के बढ़ने से हो रहा है। क्षेत्र से होकर गुजरने वालो सोमे नदी में भी उफान आ गया है।
हालाकि सरकारी स्तर पर पिछले चौबीस घंटा में नदी के 19 सेंटीमीटर बढ़ने की जानकारी दी गयी है। नदी के जलस्तर पर लगातार वृद्धि से प्रखंड के पानापुर पंचायत के सभी पांच गाव के अलावा बामघाट, कोयला, सुजाबलपुर, गदबढ़िया, मुरबड़ीया, डीहकूस्म्भा, आकरपुर, घाटकुसुम्भा, सहरा, बटोरा आदि गावो के बधार में लगे हजारो एकड़ धान और मक्का की फसल नदी के पानी में लगभग डूब गई है। लोगाें का घरों से निकलना मुश्किल हो गया है। लोग घरो में कैद से हो गए हैं।
कई गांवाें के घरो में पानी प्रवेश कर जाने के बाद लोग परिजनों के साथ छत पर या उपरी तल पर डेरा डाले हुए हैं। इन गांवाें में लोगो के समक्ष पशु के लिए चारा की समस्या भी उत्पन्न हो गयी है। लोगों के आवागमन का एकमात्र साधन नाव ही रह गया है। लेकिन वह भी सरकारी दावे के अनुसार लोगों को अभी तक प्राप्त नहीं हुआ है। लोग सरकारी स्तर पर राहत-सहायता की आश लगाये हुए है। बड़ी संख्या में लोगों ने इसे लेकर स्थानीय और जिला प्रशासन से गुहार भी लगायी है।
हालाकि लोगो की इस समस्या को लेकर स्थानीय स्तर पर प्रशासन द्वारा जिला या राज्य सरकार से किसी प्रकार की सहायता की मांग अभी तक नहीं की गयी है। इस सम्बन्ध में जानकारी प्राप्त करने पर एडीएम सत्यप्रकाश शर्मा ने बताया कि घाटकुसुम्भा प्रखंड क्षेत्र में नदी के जलस्तर बढ़ने से मुख्यतः खेत में लगी फसलो को नुकसान पंहुचा है। इस सम्बन्ध में कृषि विभाग द्वारा फसल नुकसान का आंकलन कर किसानो को आपदा प्रबन्धन की ओर से क्षतिपूर्ति किया जायेगा।
उन्होंने बताया कि लोगो की कठिनाई या पशुओं को हो रही कठिनाई के बारे में अंचलाधिकारी द्वारा मदद नहीं मांगी गयी है। प्रखंड स्तर से इस सम्बन्ध में किसी प्रकार की अभियाचना पर जिला आपदा प्रबन्धन तत्परता से कार्य करेगा। हालाकि प्रखंड स्तर पर इस समस्या पर नजर रखी जा रही है। नदी के बढ रहे जलस्तर की मापी भी प्रतिदिन की जा रही है। प्रशासन की उदासीनता लोगो की इस कठिनाई को और बढ़ा रही है।