पटना

सीबीएसई की 12वीं परीक्षा का रिजल्‍ट जारी


      • पटना जोन का 99% रिजल्ट, लड़कियों ने मारी बाजी
      • परिणाम बोर्ड द्वारा वैकल्पिक मूल्यांकन नीति के आधार पर घोषित किए गए हैं

पटना (आससे)। केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) ने सीनियर स्कूल सर्टिफिकेट एग्जामिनेशन (12) रिजल्ट्स 2021 जारी कर दिए हैं। इस साल सीबीएसई 12वीं परीक्षा में कुल 99.37 फीसदी छात्रों को सफल घोषित किया गया है। वहीं दिल्ली (एनसीआर) क्षेत्र के 99.84 फीसदी छात्र सफल हुए हैं। 12वीं के परीक्षा परिणाम बोर्ड की ऑफिशियल वेबसाइट  cbseresults.nic.in पर तीन लिंक्स के साथ जारी किए गए। जिन छात्रों को उनके स्कूल से रोल नंबर नहीं दिए गए या वे भूल गए हैं उनके लिए सीबीएसई ने बड़ी सहुलियत दी है। सीबीएसई http://cbseit.in/cbse/2021/rfinder/landing.aspx पोर्टल का लिंक जारी करते हुए कहा है कि छात्र यहां से अपना रोल नंबर प्राप्त कर सकते हैं। साथ ही 12वीं के छात्र डिजिलॉकर से भी अपना रिजल्ट डाउनलोड कर सकते हैं।

पटना जोन का 99% रिजल्ट

सेंट्रल बोर्ड ऑफ सेकेंड्री एजुकेशन (सीबीएसई) द्वारा जारी 12वीं का रिजल्ट में पटना जोन का रिजल्ट लगभग 99% है। बिहार में लगभग 600 स्कूल सीबीएसई से संबद्ध हैं। पटना में लगभग 80 स्कूल सीबीएसई से संबद्ध हैं। सीबीएसई राष्ट्रीय औसत अंकों के आधार पर रिजल्ट जारी कर रहा है। इस कारण स्टूडेंट्स के साथ-साथ स्कूल भी परेशान हैं। इस दौरान स्कूल में स्टूडेंट्स के बीच रिजल्ट आते ही खुशी की लहर दौड़ गई। बेली रोड स्थित केंद्रीय विद्यालय में प्रिंसिपल ने मिठाई खिलाकर स्टूडेंट्स को शुभकामनाएं दीं। प्राइवेट स्कूल्स एंड चिल्ड्रेन वेलफेयर एसोसिएशन के राष्ट्रीय अध्यक्ष शमाएल अहमद ने कहा कि कोरोना काल में बड़ी चुनौतियां है। बच्चों से लेकर स्कूल तक परेशान हैं। ऐसे में अगर स्टूडेंट्स का रिजल्ट संतोषजनक नहीं है, वह इससे संतुष्ट नहीं हैं तो वह सितंबर में एग्जाम दे सकते हैं। सीबीएसई ने सितंबर में एग्जाम की व्यवस्था की है। उनका कहना है कि एसोसिएशन पूरी तरह से बच्चों के साथ लड़ाई लड़ने को तैयार है।

लड़कियों ने मारी बाजी

हर बार की तरह इस बार भी लड़कियों ने बाजी मारी है और लड़कों की तुलना में उनके परिणाम 0.54 फीसदी अंतर से बेहतर रहे जबकि करीब 70,000 विद्यार्थियों ने 95 फीसदी से अधिक अंक प्राप्त किए। वहीं इस वर्ष सरकारी सहायता प्राप्त स्कूलों से पास होने वाले बच्चों के प्रतिशत में काफी वृद्धि हुई है। इसके अंतर्गत इस साल यह 99.37 प्रतिशत दर्ज किया गया जो पिछले वर्ष के 88.8 प्रतिशत से लगभग 10 फीसदी अधिक है। बोर्ड के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, ‘लड़कियों ने 0.54 फीसदी के अंतर से लड़कों से बेहतर प्रदर्शन किया है। इस साल उत्तीर्ण प्रतिशत 99.37 फीसदी है। किसी प्रावीण्य सूची की घोषणा नहीं की जा रही है। अधिकारी ने बताया, करीब 65,000 विद्यार्थियों के 12वीं कक्षा के परिणाम अब भी तैयार किए जा रहे हैं, इनकी घोषणा पांच अगस्त तक की जाएगी। कुल 70,004 विद्यार्थियों ने 95 प्रतिशत से अधिक अंक और 1,50,152 विद्यार्थियों ने 90 प्रतिशत से अधिक हंक हासिल किए। इसके अलावा 6149 विद्यार्थी पूरक श्रेणी में हैं।

परिणाम बोर्ड द्वारा वैकल्पिक मूल्यांकन नीति के आधार पर घोषित किए गए हैं

बोर्ड की परीक्षाएं कोविड-19 की दूसरी लहर के मद्देनजर इस साल रद्द कर दी गई थी और परिणाम बोर्ड द्वारा वैकल्पिक मूल्यांकन नीति के आधार पर घोषित किए गए हैं। कक्षा 12 के छात्रों के अंकों के मूल्यांकन के लिए बोर्ड के 40:30:30 फॉर्मूले के अनुसार, छात्रों का मूल्यांकन उनकी कक्षा 12, कक्षा 11 और कक्षा 10 के अंकों के आधार पर किया गया है। प्रत्येक विषय के थ्योरी अंकों की गणना इस वर्ष की शुरुआत में उनके स्कूलों द्वारा आयोजित विषय प्री-बोर्ड या मिड-टर्म परीक्षा में प्राप्त अंकों से 40% का उपयोग करके की जाएगी,  उनके 11 वीं कक्षा की अंतिम परीक्षा के अंकों से 30% , और उनके कक्षा 10 के बोर्ड परीक्षा परिणाम से 30%. इसे वास्तविक अंकों में जोड़ा जाएगा जो उन्हें उस विषय के लिए कक्षा 12 के आंतरिक मूल्यांकन और प्रायोगिक परीक्षा में मिले थे।

जो छात्र मूल्यांकन के तरीके या उनके द्वारा प्राप्त अंकों से संतुष्ट नहीं हैं, उन्हें बोर्ड द्वारा आयोजित लिखित परीक्षा में बैठने की अनुमति दी जाएगी ‘जब परीक्षा आयोजित करने के लिए परिस्थितियां अनुकूल हों। वहीं कक्षा 10 के लिए, सीबीएसई ने अंतिम परीक्षा के बिना छात्रों के मूल्यांकन के लिए एक वैकल्पिक रणनीति अपनाई है। वैकल्पिक सीबीएसई मूल्यांकन रणनीति के अनुसार, जबकि प्रत्येक विषय के लिए 20 अंक आंतरिक मूल्यांकन के लिए होंगे, 80 अंकों की गणना पूरे वर्ष विभिन्न परीक्षणों या परीक्षाओं में छात्रों के प्रदर्शन के आधार पर की जाएगी।