पटना

सुबह 7 बजे से 11 बजे पटना शहर अनलॉक!


बाजारों में उमड़ी भीड़ देख लॉकडाउन नही कह सकते

फुलवारी शरीफ। राजधानी पटना में जिस तेजी से कोरोना से लोग संक्रमित हो रहे हैं और रोजाना सबसे ज्यादा मौतें पटना के लोगो की ही कोरोना से हों रही है उसके बावजूद शहर के लोगो मे सुधरने की कोई गुंजाइश नजर नही आती है। फुलवारी शरीफ, राजा बाजार, कंकड़बाग, रामकृष्ण नगर, सिपारा, परसा, जानीपुर, बाल्मी ईसापुर, जगदेव पथ, बेउर आशियाना नगर, दीघा रोड, राजीव नगर हो या आसपास के इलाके, कमोबेश पटना के हर इलाके सरकारी फरमान खरीदारी के लिए निर्धारित समय सुबह सात बजे से 11 बजे का भरपूर मजाक बना कर रखे हुए है। यहां के लोगो मे एक दुसरे को मौत के करीब के जाने की होड़ लगी है। चाहे कोरोना से हम मरेंगे, सबको मौत के मुंह मे धकेल देंगे लेकिन सुधरेंगे नही। ऐसे लॉकडाउन का क्या मतलब रह गया।

फुलवारी बाजार में पैदल चलने की जगह नहीं बचती दिखाई देती है। यहां सुबह ही नही बल्कि शाम में भी लोगो को सरेआम खरीदारी करते देखा जा सकता है। फुलवारी बाजार में पैर रखने की भी जगह नहीं थी। यहां पर सुबह के सवा दस बजे लोगों की लंबी-लंबी लाइनें लगी हुई थी। सभी दुकानों से लेकर सड़कों पर लोगों की भीड़ के चलते चलने में भी परेशानी हो रही थी। स्थिति यह थी कि काफी संख्या में लोग बाजार में इकट्ठा हो गए थे।

सुबह के ग्यारह बजे के बाद ही फुलवारीशरीफ बाजार में स्थिति सामान्य हो पाती है। सुबह में खरीदारी के लिए कम वक्त मिलने के चलते लोग एकाएक बाजार में जुट रहे हैं। इस वजह से भीड़ बढ़ रही है। वहीं प्रशासन की ओर से बाजार में सोशल डिस्टेंस मेंटेन कराने को लेकर कोई ठोस पहल नहीं हो पा रही है। फुलवारी शरीफ थाना के सामने ही बाजारों में सोशल डिस्टेंस की धज्जियां उड़ती दिखाई देती है।

ऐसा ही नजारा राजीव नगर में बजारो में उमड़ रही है। कोरोना से हो रही मौतों से लोग बेपरवाह बने हैं । पटना के हर इलाके में पुलिस प्रशासन अपनी भूमिका सही मायनों में नही निभाते नजर आ रहे हैं। रोड किनारे ट्रैफिक पुलिस जवानों को हर इलाके में आराम फरमाते देखा जा सकता है।

वहीं कंकड़बाग में सब्जी खरीदने वालों की भीड़ उमड़ती है। संक्रमण से ज्यादा प्रभावित कंकड़बाग सब्जी मंडी अब मोहल्ले में सजने लगी है। सुबह साढ़े छह बजे से ही दुकान सज जाती है। पहले फैले हुए एरिया में सब्जी मंडी थी तो अब 20 फीट सड़क के दोनों किनारे एक दूसरे से सटकर ठेला लगा दिया जाता है। लोग भी आपसी दूरी का ख्याल नहीं रखते हैं। ऐसे में संक्रमण का खतरा और भी बढ़ जाता है। प्रशासन ने भीड़ को हटाने के लिए सब्जी मंडी से सब्जी विक्रेताओं को मंडी से हटाया था लेकिन अलग-अलग इलाके में बेचने के शुरू कर दिए गए।