नई दिल्ली, । : जन्माष्टमी का त्योहार पूरे भारत में भगवान बड़े ही धूम-धाम से मनाया जाता है। यह पर्व श्री कृष्ण के जन्मोत्सव के रूप में मनाया जाता है। जन्माष्टमी पर भगवान श्रीकृष्ण के बाल रूप लड्डू गोपाल की पूजा की जाती है। इस वर्ष भाद्रपद माह की अष्टमी तिथि दो दिन पड़ रही है जिस कारण जन्माष्टमी का पर्व भी दो दिन मान्य होगा। आइए जानते हैं कि मथुरा, वृंदावन और इस्कॉन मंदिर में जन्माष्टमी का पूरा ब्यौरा।
मथुरा, वृंदावन और इस्कॉन मंदिर में जन्माष्टमी
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पूजा का समय |
निशिता पूजा का मुहूर्त |
8 सितंबर, 11:56 से 12:42 तक |
जन्माष्टमी पारण समय |
8 सितंबर के बाद, सुबह 06:02 मिनट तक |
मध्यरात्रि का क्षण |
8 सितंबर, सुबह 12:19 मिनट |
चंद्रोदय समय |
11:43 मिनट तक |
अष्टमी तिथि प्रारंभ |
6 सितंबर, दोपहर 03:37 मिनट |
अष्टमी तिथि समाप्त |
7 सितंबर, 04:14 मिनट तक |
रोहिणी नक्षत्र प्रारंभ |
6 सितंबर, 09:20 मिनट पर |
रोहिणी नक्षत्र समाप्त |
7 सितंबर 10:25 मिनट तक |
ठाकुर बांके बिहारी मंदिर में जन्माष्टमी कार्यक्रम की समय सारणी
बांके बिहारी की पूजा |
समय |
श्रृंगार आरती |
सुबह 7 बजकर 55 मिनट पर |
राजभोग आरती |
सुबह 11 बजकर 55 मिनट पर |
कपाट बंद करने का समय |
दोपहर 12 बजे |
कपाट खुलने का समय |
शाम 5 बजकर 30 मिनट पर |
शयन भोग आरती |
रात 9 बजकर 30 मिनट पर |
ठाकुर जी का अभिषेक |
रात 12 बजे |
मंगला आरती |
आधी रात में 1 बजकर 55 मिनट पर |