वाराणसी, । अखिलेश- ममता की जनसभा गुरुवार को वाराणसी में हुई तो मंच से खूब चुनावी तीर चले। ममता बनर्जी ने कहा कि मेरे छोटे भाई अखिलेश यादव, जयंत चौधरी और ओम प्रकाश राजभर की प्रतिष्ठा दांव पर है। मैदान की ऐतिहासिक भीड़ देखकर अब विश्वास हुआ है कि प्रतिष्ठा अब विपक्ष की दांव पर लगी है। कल जब मैं गंगा आरती से लौट रही थी तो भाजपा के कार्यकर्ता ने मुझे काला झंडा दिखाया। मेरे गाड़ी को धक्का दिया। वापस जाओ के नारे लगाए। इसके बाद मैं गाड़ी से उतर गई और कहा कि जो करना है करो।
डरने वाली नहीं। मैं लड़ाकू हूं। मैं समझ गई हूं कि बीजेपी हार रही है। वह खीझ दिखा रही है। मैं बीजेपी से पूछना चाहती हूं कि क्या मैं बनारस में नहीं आ सकती हूं। क्या मैं संकटमोचन, बाबा विश्वनाथ दरबार, बाबा काल भैरव, आजमगढ़, अयोध्या, गोरखपुर, मथुरा और लखीमपुर नहीं आ सकती। आप भी तो मेरे गंगा सागर आते हो। वहां तो लोगों को गाली नहीं मिलती है। कोरोना काल के दौरान बीजेपी के लोग कहां थे। जब मजदूर पैदल वापस आ रहे थे। आज यूक्रेन और रुस में युद्ध हो रहा है। सरकार प्रचार में व्यस्त है। फंसे लोगों से कहा जा रहा है कि अपने आप वापस चले आओ। हम हिंदू, मुस्लिम नहीं करते हैं।
एक सच्चा हिन्दुस्तानी वहीं है जो सबको प्यार करता है। बीजेपी कहती है कि अच्छे दिन आएंगे। नोट बंदी, जीएसटी, महंगाई लाकर जनता के सामने बुरे दिन ला दिया। कोरोना काल के दौरान बंगाल में जितने लोग उत्तर प्रदेश के थे जिनकी मौत महामारी से हुई। हमने उसे कफन दिया। यूपी का योगी योगी नहीं ढोंगी है। मैंने सुना है कि यूपी का योगी गांव में जाकर कहता है कि जिसका नमक खाया है उसे वोट दो। मेरा सरकार तो वर्ष भर राशन देता है। मैं आपसे अपील करती हूं कि गठबंधन को वोट दें। गठबंधन को समर्थन दें हम सबकी समस्या का समाधान करेंगे। इस दौरान उन्होंने हिंदुत्व कार्ड खेलते हुए मां काली का मंत्र भी पढ़ा।