नई दिल्ली, । कोरोना वायरस संक्रमण के मामलों में कमी आने के बाद दिल्ली-एनसीआर के इलाकों में आइटी सेक्टर को छोड़कर तकरीबन दफ्तरों में सुचारु रूप से काम होने लगा है। लोग अब रोजाना दफ्तरों में काम के लिए जाने लगे हैं। ऐसे में सबसे बड़ी दिक्कत आवाजाही में हो रही है। दिल्ली-एनसीआर की लाइफलाइन कही जाने वाली दिल्ली मेट्रो का परिचालन सामान्य रूप से नहीं होने से लोगों को अधिक दिक्कत हो रही है। मेट्रो यात्रियों को कहना है कि दिल्ली सरकार को पहल कर दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण की बैठक बुलाई जानी चाहिए, जिसमें दिल्ली मेट्रो को पूरी क्षमता के साथ संचालित करने का निर्णय हो।
जबरदस्त भीड़ के चलते पीक आवर में हो रही परेशानी
पीक आवर में दिल्ली मेट्रो में जबरदस्त भीड़ होने लगी है। सुबह और शाम को भीड़ इस कदर बढ़ जाती है कि कोरोना प्रोटोकाल भी कायम नहीं रह पाता है। कहा जा रहा है कि दिल्ली और एनसीआर के शहरों में सभी तरह के दफ्तरों के खुलने के बाद फिलहाल प्रतिदिन करीब करीब 15 लाख यात्री सफर कर रहे हैं। ऐसे में सुबह और शाम को मेट्रो में जबरदस्त भीड़ होने लगी है।
पीक आवर में यात्रियों की भारी संख्या के चलते मेट्रो प्रशासन को भी दिक्कत आ रही है। दरअसल. कोविड-19 की स्थिति में सुधार तो हुआ है, लेकिन दिल्ली मेट्रो फिलहाल पूर्ण क्षमता के साथ नहीं दौड़ रही है। फिलहाल सभी सीटों पर बैठकर लोग यात्रा कर सकते हैं, लेकिन खड़े होकर यात्रा करने पर अब भी पाबंदी है। ऐसे में लोगों को दिक्कत आ रही है। लोगों को अपना सफर तय करने में अधिक समय लग रहा है।