जम्मू, : एक बहुमंजिला इमारत बनाकर सभी न्यायिक कार्य वहीं पर करने समेत अन्य मांगों को लेकर वकीलों ने 28 जुलाई को एक बार फिर से हड़ताल पर रहने का फैसला लिया है। इससे पूर्व वकील अपनी इस मांग को लेकर 22 व 23 जुलाई को दो दिन की हड़ताल पर रहे थे। अब कल की हड़ताल के दौरान वकील एक बार फिर से जानीपुर स्थित कोर्ट परिसर में विरोध प्रदर्शन करेंगे। जम्मू-कश्मीर हाईकोर्ट बार एसोसिएशन ने इस हड़ताल का आह्वान किया है और जम्मू के अलावा आसपास के जिलों में भी इस हड़ताल का असर देखने को मिलेगा।
जेएंडके हाईकोर्ट बार एसोसिएशन के अनुसार वह अपनी मांगों को लेकर लंबे अर्से से आवाज उठा रहे हैं लेकिन उपराज्यपाल प्रशासन उनकी मांगों को लगातार अनदेखा करता आ रहा है, लिहाजा चेतावनी के तौर पर एसोसिएशन ने 22 व 23 जुलाई को दो दिन वर्क सस्पेंड रखा था लेकिन प्रशासन की ओर से उनकी मांग पर कोई रूख नहीं रखा गया है।
लिहाजा उन्होंने 28 जुलाई को फिर से एक दिन की हड़ताल पर रहने का फैसला लिया है। एसोसिएशन के प्रधान सीनियर एडवोकेट एमके भारद्वाज के अनुसार विभिन्न न्यायिक कार्य अलग-अलग जगह पर होने के कारण वकीलों के साथ आम लोगों को भी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।
भारद्वाज ने जमीनों की रजिस्ट्री के संबंधी सभी कार्यों, कैट बेंच तथा अन्य ट्रिब्यूनल को एक छत के नीचे लाने की मांग उठाते हुए कहा है कि ये सभी कार्य अलग-अलग जगह होते हैं, ऐसे में वकीलों को भी दरबदर होना पड़ता है और रजिस्ट्री करवाने व केस लड़ने आने वाले लोगों को भी एक जगह से दूसरी जगह भटकना पड़ता है।
उन्होंने कहा कि अगर ये सभी एक जगह होंगे तो सबको सुविधा होगी। भारद्वाज ने कहा कि इस मांग को लेकर वे लंबे अर्से से आवाज उठाते आ रहे हैं और इसे लेकर उपराज्यपाल मनोज सिन्हा से चर्चा भी हुई है। इसके बावजूद आज तक इस दिशा में कोई कार्रवाई नहीं की गई।
यहीं कारण है कि उन्हें हड़ताल का रास्ता अपनाना पड़ रहा है। भारद्वाज ने कहा कि अगर प्रशासन का यहीं रवैया रहा तो उन्हें विवश होकर इससे भी सख्त कदम उठाने पड़ेंगे।