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Manish Kashyap की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने नीतीश सरकार को भेजा नोटिस


पटना, तमिलनाडु में बिहारी श्रमिकों पर हमले का फर्जी वीडियो प्रसारित करने के मामले में गिरफ्तार यूट्यूबर मनीष कश्यप की याचिका पर सुप्रीम कोर्ट में मंगलवार को सुनवाई हुई। शीर्ष न्यायालय ने इस मामले में केंद्र के साथ-साथ बिहार और तमिलनाडु सरकार को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है। सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस कृष्ण मुरारी और संजय करोल की पीठ ने याचिका की आगे की सुनवाई 21 अप्रैल के लिए सूचीबद्ध की है।

बता दें कि यूट्यूबर मनीष कश्यप ने सुप्रीम कोर्ट ने याचिका दायर की है, जिसमें उसने अपने खिलाफ विभिन्न स्थानों पर दायर प्राथमिकियों को एक साथ सम्बद्ध करने का अनुरोध किया है। याचिका में कहा गया है कि उसके खिलाफ कई प्राथमिकी दर्ज की गईं हैं, जिनमें बिहार में तीन और तमिलनाडु में दो प्राथमिकी शामिल है। मनीष कश्यप ने अर्जी दाखिल कर अंतरिम जमानत की भी मांग की है।

तमिलनाडु के जेल में बंद है मनीष कश्यप

उल्लेखनीय है कि पिछले महीने 29 मार्च को तमिलनाडु पुलिस मनीष कश्यप को प्रोडक्शन वारंट पर अपने साथ चेन्नई ले गई थी। वहां मदुरई कोर्ट में पेश करने के बाद पुलिस को तीन दिनों की रिमांड मिली थी, जिसमें उससे पूछताछ की गई थी। अभी फिलहाल वह 19 अप्रैल तक न्यायिक हिरासत में है। मनीष के खिलाफ राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम (NSA) के तहत भी मामला दर्ज किया गया है।

कुर्की जब्ती के दौरान मनीष कश्यप ने किया था सरेंडर

तमिलनाडु में बिहारी श्रमिकों पर हमले का झूठा वीडियो शेयर करने के आरोपित यूट्यूबर मनीष कश्यप ने 18 मार्च को बिहार के बेतिया में सरेंडर किया था। पुलिस ने बेतिया जिले के जगदीशपुर ओपी स्थित मनीश कश्यप के घर पर कुर्की जब्ती की थी। पुलिस उसके घर के दरवाजे और खिड़कियां तक उखाड़ कर ले गई।

बिहार पुलिस का दावा है कि मनीष कश्यप के पीछे एक बहुत बड़ा नेटवर्क काम कर रहा है। पुलिस का कहना है कि पूछताछ में उसने कई अहम जानकारियां भी दी है। बिहार और तमिलनाडु पुलिस लगातार उसके खिलाफ सबतू जुटाने में लगी है।