रविवार को अपना 52वां जन्मदिन मनाने के बाद वरिष्ठ कांग्रेसी नेता सोमवार की सुबह 11.05 बजे ईडी दफ्तर पहुंचे। लगभग एक घंटे के लंच ब्रेक के बाद उनसे फिर से 4.45 बजे पूछताछ शुरू हुई। ईडी अब तक उनसे 35 घंटे से अधिक पूछताछ कर चुकी है। राजनीतिक रूप से संवेदनशील मामला होने के कारण ईडी के अधिकारी राहुल गांधी से पूछे गए सवालों और उनके जवाब के बारे में नहीं बता रहे हैं। लेकिन वे इसे मनी लांड्रिंग के लिए फिट केस बता रहे हैं।
ईडी सीआरपीसी के तहत कानून सम्मत कर रहा है कार्रवाई
कांग्रेस नेताओं के बिना एफआइआर के मनी लांड्रिंग का केस नहीं बनने के आरोपों को वरिष्ठ अधिकारी ने खारिज कर दिया। उनके अनुसार ईडी सीआरपीसी के तहत कानून सम्मत कार्रवाई कर रहा है। उनके अनुसार सीआरपीसी में पुलिस में एफआइआर दर्ज कराने या फिर इसके लिए सीधे अदालत में शिकायत दर्ज करने का स्पष्ट प्रावधान है। उन्होंने कहा कि इस मामले में सुब्रह्मणयम स्वामी ने पुलिस में एफआइआर दर्ज कराने के बजाय अदालत में शिकायत की।