रांची। पूर्व मंत्री और जमशेदपुर पूर्वी के विधायक सरयू राय (Saryu Rai) ने स्वास्थ्य विभाग के भ्रष्टाचार और अनियमितता पर मुख्यमंत्री चंपई सोरेन (Champai Soren) का ध्यान आकृष्ट कराया है।
मुख्यमंत्री को लिखे पत्र में उन्होंने उल्लेख किया है कि कई बार पूर्व मुख्यमंत्री को उन्होंने लिखित एवं मौखिक रूप से आगाह किया था कि आपकी सरकार के स्वास्थ्य विभाग में बड़े पैमाने पर अनियमितता और भ्रष्टाचार हो रहे हैं।
स्वास्थ्य विभाग के अवैध क्रियाकलाप सरकार को बीमार बना रहे हैं। पता नहीं उनकी क्या मजबूरी थी कि जानबूझ लेने के बाद भी उन्होंने स्वास्थ्य विभाग की अनियमितताओं के विरुद्ध कोई कार्रवाई नहीं की। फिलहाल संसदीय कार्य विभाग को छोड़कर सभी विभागों के मंत्री आप स्वयं हैं।
24 डॉक्टरों की प्रतिनियुक्ति करने के आदेश की अधिसूचना निकली
गत पांच फरवरी को जिस दिन आपकी सरकार विधानसभा में विश्वास मत प्राप्त कर रही थी, उसी दिन 24 डॉक्टरों की प्रतिनियुक्ति करने के आदेश की अधिसूचना निकली। इस अधिसूचना पर निवर्तमान स्वास्थ्य मंत्री के प्रियपात्र एक अवर सचिव का हस्ताक्षर था।
ज्ञातव्य है कि 31 जनवरी को तत्कालीन मुख्यमंत्री द्वारा त्यागपत्र दे दिए जाने के कारण राज्य में न कोई सरकार थी और न कोई मंत्री था। सवाल उठता है कि फिर किसके आदेश से यह अधिसूचना निकली? क्या तत्कालीन स्वास्थ्य मंत्री ने बैक डेट में फाइल पर दस्तखत किया और उनके चहेते अधिकारी ने बैकडेट में अधिसूचना पर दस्तखत कर अधिसूचना जारी कराई।
सरकार के शपथ लेने के दिन ही स्वास्थ्य विभाग ने यह जालसाजी किया। यह अधिसूचना निरस्त हो और दोषियों के विरुद्ध कार्रवाई की जाए।
इस तरह का भ्रष्ट आचरण तत्कालीन स्वास्थ्य मंत्री ने गत चार वर्षों में कई बार किया है। एक खास वेतनमान से ऊपर के चिकित्सकों का स्थानांतरण, पदस्थापन, प्रतिनियुक्ति का अधिकार मुख्यमंत्री को है। उसकी संचिका मुख्यमंत्री के पास भेजे बगैर अपने स्तर से ही निर्णय किए।