पटना

बेगूसराय: सरकार की महत्वाकांक्षी योजना को पलीता लगा रहे हैं प्रधानाध्यापक


बेगूसराय (आससे)। सरकार की महत्वाकांक्षी योजना को पलीता लगा रहे हैं प्रधानाध्यापक। बताते चलें कि सरकार के द्वारा कई तरह की महत्वकांक्षी योजना छात्र-छात्राओं के लिए चलाई जा रही है। जिसमें पोशाक राशि, छात्रवृत्ति राशि एवं प्रोत्साहन राशि योजना शामिल है। बताते चलें कि बखरी उत्क्रमित माध्यमिक विद्यालय के प्रधानाध्यापक इतने बेपरवाह हैं कि उन्होंने छात्रों से जुड़े हुए महत्वाकांक्षी योजना को छात्रों तक नहीं पहुंचाए, उक्त विद्यालय में 7 लाख रुपये विभाग को वापस किया।

उत्क्रमित माध्यमिक विद्यालय बखरी के प्रधानाध्यापक ने सामान्य वर्ग के छात्रों का प्रोत्साहन राशि छात्रों तक नहीं पहुंचाया है। यह योजना राशि 2017-18 का बताया जा रही है। वहीं 2016-17 में भी महत्वाकांक्षी योजनाओं को छात्रों तक नई पहुंचाने का आरोप भी लग चुका है। बताते चलें कि कई छात्र-छात्राएं योजना लेखा के कार्यालय में आकर दस्तक देते रहते हैं और फरियादी बनकर फरियाद करते हैं कि मुझे अभी तक राशि नहीं मिली है। अब सवाल उठता है कि क्या सरकार की महत्वाकांक्षी योजनाओं को इसी तरह नजरअंदाज किया जाएगा।

उत्क्रमित माध्यमिक विद्यालय बखरी में 2017-18  में सामान्य वर्ग के 19 छात्र मैट्रिक परीक्षा में प्रथम श्रेणी से पास हुए थे जिसे प्रोत्साहन राशि के तहत 10 हजार रुपये की दर से छात्रों को देना था। लेकिन इस विद्यालय प्रधान में छात्रों को राशि नहीं दिए। जब योजना लेखा के द्वारा उपयोगिता प्रमाण पत्र की मांग की जाने लगी तो इसी क्रम में उक्त विद्यालय के कारनामे का खुलासा हुआ।

मिली जानकारी के अनुसार उत्क्रमित माध्यमिक विद्यालय बखरी को योजना लेखा के द्वारा कई बार पत्र भी प्रेषित किया गया लेकिन इसका कोई जवाब देना उचित नहीं समझा। 30 जुलाई को स्पस्टीकरण पूछा गया, जिसका कोई जवाब विभाग को नहीं दिया गया है। वहीं यह सवाल उठना लाजमी है कि क्या विद्यालय प्रधान को पता नहीं है कि उनके विद्यालय में कितने सामान्य वर्ग के छात्र हैं जब मैट्रिक का परीक्षाफल निकला तो उन्हें जरूर पता होगा कि हमारे विद्यालय में कितने छात्र प्रथम श्रेणी से उत्तीर्ण हुए हैं।

इस तरह की लापरवाही कोई एक विद्यालय की नहीं है कुछ और भी विद्यालय हैं जहां के प्रधान ने महत्वाकांक्षी योजना को ठेंगा दिखाया है। जहां सरकार छात्र हित में विभिन्न तरह की महत्वकांक्षी योजना को चला रही है तो वहीं विद्यालय प्रधान महत्वाकांक्षी योजना को पलीता लगा रहे हैं। क्या विद्यालय प्रधान पर कार्रवाई होती है या फिर ठंडे बस्ते में डाल दिया जाएगा।