(आज शिक्षा प्रतिनिधि)
पटना। शिक्षा मंत्री विजय कुमार चौधरी ने कुलपतियों से कहा है कि विश्वविद्यालयों में अध्ययन-अध्यापन देखें। शोध एवं अनुसंधान पर जोर दें। बच्चों के मन में विश्वास पैदा करें। शिक्षा मंत्री श्री चौधरी गुरुवार को यहां राज्य उच्चतर शिक्षा परिषद की नवगठित पांच कमेटियों की बैठक का उदघाटन कर रहे थे। शिक्षा मंत्री राज्य उच्चतर शिक्षा परिषद के अध्यक्ष हैं। श्री चौधरी ने कमेटियों के अध्यक्ष-सदस्यों से कहा कि गुणवत्तापूर्ण उच्च शिक्षा के लिए कमेटियों की सलाह मानी जायेगी। इसलिए कमेटियां ऐसी सलाह दें, जिसे अमल में लाया जा सके।
श्री चौधरी ने राज्य की शैक्षिक परम्परा की चर्चा करते हुए कहा कि पहले पटना विविश्वविद्यालय के टॉपर अपने ही विश्वविद्यालय में शिक्षक बनते थे। लेकिन, आज टॉपर इंजीनियर-डॉक्टर बन रहे हैं। शिक्षकों की पहचान और प्रतिष्ठा शिक्षण कार्य से ही है। इसलिए अध्यापन में गुणवत्ता पर जोर दिया जाना चाहिये। इससे शिक्षार्थियों के मन में विश्वास जगेगा।
शिक्षा मंत्री श्री चौधरी ने राज्य उच्चतर शिक्षा परिषद की जिन पांच कमेटियों की बैठक का उद्घाटन किया, उनमें गुणवत्ता निश्चय कमेटी, नवीन शिक्षा नीति कार्यान्वयन कमेटी, शैक्षणिक सुधार कमेटी, नैक कमेटी तथा आईटी एवं आईसीटी कार्यान्वयन कमेटी शामिल हैं।
राज्य उच्चतर शिक्षा परिषद के उपाध्यक्ष डॉ. कामेश्वर झा ने कहा कि कोविड-19 की दो लहरों के झेलने के बावजूद राज्य के विश्वविद्यालयों में परीक्षा सत्र नियमित हुए हैं। दक्षिण केंद्रीय विश्वविद्यालय की उपलब्धियों की चर्चा करते हुए उन्होंने कहा कि ऑनलाइन पढ़ाई के तहत विश्वविद्यालयों द्वारा वेबिनार की झडिय़ां लगा दी गयीं। स्वायत्तता के साथ ही पटना वीमेंस कॉलेज ने सीबीसीएस, सेमेस्टर प्रणाली अपनाया एवं वोकेशनल कोर्स शुरू किये।
राष्ट्रीय स्तर पर हुए सर्वेक्षण में ए.एन. कॉलेज साइंस की पढ़ाई में राज्य में पहले नम्बर पर रहा। उन्होंने बी.एन. मंडल विश्वविद्यालय, मगध विश्वविद्यालय, ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय, पटना विश्वविद्यालय एवं बी. आर. ए. बिहार विश्वविद्यालय सहित अन्य विश्वविद्यालयों की उपलब्धियों की चर्चा की।
राज्य उच्चतर शिक्षा परिषद के सभा-कक्ष में घंटों चली बैठक में शिक्षा विभाग के अपर मुख्यसचिव संजय कुमार, सचिव, असंगबा चुबा आओ, उच्च शिक्षा निदेशक डॉ. रेखा कुमारी, दक्षिण बिहार केंद्रीय विश्वविद्यालय के कुलपति, पटना विश्वविद्यालय के कुलपति, ललित नारायण मिथिला विश्वविद्यालय के कुलपति, मगध विश्वविद्यालय के कुलपति, पटना विश्वविद्यालय के प्रतिकुलपति, मुंगेर विश्वविद्यालय के कुलपति एवं नालंदा खुला विश्वविद्यालय के कुलपति, कमेटियों के सभी सदस्य तथा राज्य उच्चतर शिक्षा परिषद के राज्य कार्यक्रम पदाधिकारी योगेश कुमार एवं शिवेश रंजन सहित सभी संबंधित अधिकारी शामिल थे।