(आज शिक्षा प्रतिनिधि)
पटना। राज्य में मैट्रिक की परीक्षा से सोमवार को 16 नकलची निष्कासित किये गये। दूसरे के बदले परीक्षा देते 12 फर्जी परीक्षार्थी भी गिरफ्तार हुए। बिहार विद्यालय परीक्षा समिति के अध्यक्ष आनन्द किशोर ने बताया कि सभी परीक्षा केंद्रों पर दोनों पाली की परीक्षा कड़ी सुरक्षा के बीच स्वच्छ एवं कदाचाररहित माहौल में हुई।
तीन फर्जी परीक्षार्थियों की गिरफ्तारी मुंगेर से हुई, जो दूसरे के बदले परीक्षा दे रहे थे। मधेपुरा, जहानाबाद एवं गया से दूसरे के बदले परीक्षा देते दो-दो फर्जी परीक्षार्थी गिरफ्तार किये गये। भागलपुर, कैमूर एवं नवादा से एक-एक फर्जी परीक्षार्थी गिरफ्तार किये गये हैं, जो दूसरे के बदले परीक्षा दे रहे थे।
दूसरी ओर नकल के जुर्म में सुपौल, मधेपुरा, भोजपुर एवं सारण से दो-दो नकलची परीक्षार्थी परीक्षा से निष्कासित किये गये हैं। मुंगेर, जमुई, सहरसा, सीतामढ़ी, नालंदा, गया, औरंगाबाद एवं सीवान से एक-एक परीक्षार्थी नकल के जुर्म में परीक्षा से निष्कासित हुए हैं।
मैट्रिक की परीक्षा दे रहे छात्र-छात्राओं ने सोमवार को मातृभाषा के तहत हिंदी, उर्दू, मैथिली एवं बांग्ला की परीक्षा दी। हिंदी की परीक्षा में बैठने के लिए 14 लाख 11 हजार 525 परीक्षार्थियों द्वारा परीक्षा फॉर्म भरे गये थे। इनमें सात लाख 449 परीक्षार्थी पहली पाली के एवं सात लाख दो हजार 76 परीक्षार्थी दूसरी पाली के हैं।
दूसरी ओर उर्दू की परीक्षा में बैठने के लिए एक लाख 86 हजार 598 परीक्षार्थियों द्वारा परीक्षा फॉर्म भरे गये थे। इनमें 93 हजार 610 परीक्षार्थी पहली पाली के एवं 92 हजार 984 परीक्षार्थी दूसरी पाली के हैं।
तीसरे स्थान पर मैथिली रही। मैथिली की परीक्षा में बैठने के लिए 85 हजार 180 परीक्षार्थियों द्वारा परीक्षा फॉर्म भरे गये थे। इनमें 43 हजार 100 परीक्षार्थी पहली पाली के एवं 42 हजार 80 परीक्षार्थी दूसरी पाली के हैं। इसी प्रकार बांग्ला की परीक्षा में बैठने के लिए 480 परीक्षार्थियों द्वारा परीक्षा फॉर्म भरे गये थे। इनमें 336 परीक्षार्थी पहली पाली के एवं 144 परीक्षार्थी दूसरी पाली के हैं।