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Indo-Pacific Region and China: चीन के इस कदम से क्‍यों चिंतित हुए अमेरिका और आस्‍ट्रेलिया


नई दिल्‍ली, । What is Indo-Pacific Region: क्‍वाड और आकस सुरक्षा समझौते से चिंतित चीन ने आस्‍ट्रेलिया और जापान को घेरने की तैयारी तेज कर दी है। इसके लिए ड्रैगन हिंद प्रशांत महासागर में आस्‍ट्रेलिया के करीब स्थित दस देशों के साथ सुरक्षा समझौता करने जा रहा है। चीन के विदेश मंत्री वांग यी ने सोलोमन द्वीप के साथ बेल्‍ट एंड रोड और सुरक्षा डील से शुरुआत भी कर दी है। चीन के विदेश मंत्री वांग यी ने सोलोमन द्वीप की यात्रा को इसी कड़ी से जोड़कर देखा जा रहा है। चीन के इस कदम से अमेरिका और आस्‍ट्रेलिया दोनों ही तनाव में आ गए हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि इससे हिंद प्रशांत क्षेत्र में तनाव बढ़ेगा। आखिर चीनी विदेश मंत्री वांग की सोलोमन द्वीप की यात्रा का मकसद क्‍या है। इससे अमेरिका और आस्‍ट्रेलिया की चिंता क्‍यों बढ़ गई है।

 

1- प्रो हर्ष वी पंत का कहना है कि ये सभी द्वीप हिंद प्रशांत क्षेत्र में बहुत अहम भू-रणनीतिक महत्‍व रखते हैं। प्रशांत महासागर के सभी द्वीप आस्‍ट्रेलिया के पूर्वोत्‍तर में स्थित हैं। यह वही जगह है जहां से अमेरिका के गुआम द्वीप से आस्‍ट्रेलिया के बीच जंगी जहाज गुजरते हैं। अमेरिका और आस्‍ट्रेलिया दोनों ही इस बात से चिंतित हैं कि दक्षिण चीन सागर में आक्रामक रुख अपना रहा चीन अब अपनी पहुंच को प्रशांत महासागर में बढ़ा रहा है। हालांकि अभी यह स्‍पष्‍ट नहीं है कि यह प्रस्‍तावित कानून प्रशांत महासागर के द्वीपीय देशों में चीन के साथ रिश्‍तों को लेकर बहुत समर्थन हासिल कर पाएगा।

2- उन्‍होंने कहा कि दो महाशक्तियों के बीच ये द्वीपीय देश अपने आप को असुरक्षित महसूस कर रहे हैं। प्रशांत क्षेत्र के 22 अन्‍य नेताओं को भेजे एक पत्र में मिक्रोनेसिया के राष्‍ट्रपति डेविड पनुएलो ने कहा कि यह मसौदा प्रस्‍ताव प्रशांत द्वीपीय देशों को बहुत करीब से चीन के पाले में ला देगा। उन्‍होंने कहा कि इससे प्रशांत द्वीपीय देशों की संप्रभुता भी प्रभावित होगी। सबसे बढ़कर इस समझौते पर हस्‍ताक्षर करते ही चीन बनाम पश्चिमी देशों के बीच नया कोल्‍ड वार शुरू हो जाएगा।