Post Views: 634 डा. श्रीनाथ सहाय अबतक तो केवल इण्टरनेटके जरिये फैले पोर्नोग्राफीके कारोबारको लेकर ही चिन्ता व्यक्त की जाती थी किन्तु अब ओटीटी रूपी इस माध्यमने डरावनी स्थित उत्पन्न कर दी है। एक समय था जब भारतमें मां-बाप बच्चोंको सिनेमा देखनेतकसे रोकते थे। लेकिन पहले टेलीविजन और उसके बाद इण्टरनेटके उदयने मनोरंजनको सर्वसुलभ कर […]
Post Views: 624 पी.के. खुराना सन् १९९१ में पीवी नरसिंह रावके प्रधान मंत्रित्व कालमें उदारवादकी शुरुआत की। उससे देशकी अर्थव्यवस्थामें कई बड़े परिवर्तन आये। कांग्रेसने पहली बार इंदिरा गांधीके समाजवादी गणराज्यकी परिकल्पनासे परे सोचा और वैश्विक कंपनियोंको भारतमें विदेशी निवेश आमंत्रित किया। भविष्यमें तकनीक सिर्फ सपोर्ट सिस्टम न रहकर उद्योगोंकी दिशा निर्धारित करेगी। इसीसे भारतीय […]