पटना

उद्योग मंत्री सैयद शाहनवाज हुसैन ने की बेगूसराय की औद्योगिक योजनाओं की समीक्षा


(आज समाचार सेवा)

पटना। बिहार के उद्योग मंत्री सैयद शाहनवाज़ हुसैन ने शुक्रवार को बेगूसराय के नए और पुराने औद्योगिक क्षेत्रों का दौरा किया और जिले में उद्योगों को नया विस्तार देने के मकसद से एक के बाद एक कई कार्यक्रमों में शिरकत की। उन्होंने जिले के सभी छोटे बड़े उद्योगपतियों से मिलकर संवाद किया तो जिला समाहरणालय में बैठक कर जिले में उद्योग की सभी योजनाओं की समीक्षा भी की।

उन्होंने सबसे पहले बेगूसराय में बीएआईडी के नए औद्योगिक क्षेत्र-इंडस्ट्रियल ग्रोथ सेंटर में बन रही पेप्सी की बॉटलिंग प्लांट का निरीक्षण किया और कंपनी के अधिकारियों को निर्देश दिया कि निर्माण का काम लक्ष्य के मुताबिक इस साल के अंत तक पूरा कर प्रोडक्शन का काम भी तय समय से प्रारंभ हो जाए। बीएआईडी द्वारा दी गई जमीन पर करीब 51 एकड़ क्षेत्र में बन रहे पेप्सी के बॉटलिंग प्लांट के निर्माण का काम इसी साल दिसंबर तक पूरा करने का लक्ष्य है और उसके बाद यहां प्रोडक्शन का काम शुरू किया जाएगा।

बेगूसराय में बीएआईडी के नए औद्योगिक क्षेत्र-इंडस्ट्रियल ग्रोथ सेंटर का दौरा करने के बाद बिहार के उद्योग मंत्री सैयद शाहनवाज हुसैन ने कहा कि मार्च 2021 में ही पेप्सी कंपनी को जमीन दी गई थी और 1 साल से भी कम समय में मैन्युफैक्चरिंग यूनिट बनकर तैयार हो जाएगा और इस साल के अंत तक प्रोडक्शन शुरू कर ये औद्योगिक इकाई मिसाल पेश करेगा। उन्होंने कहा कि जो लोग बिहार के औद्योगिकीकरण को असंभव मान रहे हैं, बेगूसराय में पेप्सी बॉटलिंग प्लांट की प्रगति उनके लिए आंखें खोलने वाली है।

इसके बाद उन्होंने एक बॉयल्ड राइस मिलिंग यूनिट का भी निरीक्षण किया। बिहार सरकार की औद्योगिक नीति से प्रोत्साहन प्राप्त इस इकाई में 100 टन उष्ना चावल प्रतिदिन अत्याधुनिक मशीनों से तैयार होता है। सैयद शाहनवाज हुसैन ने कहा कि महाबीर इंडस्ट्रीज़ और कृष्णा राइस प्रोसेसर्स जैसी इकाईयां उद्योग क्षेत्र में तेजी से आगे बढ़ रहे बिहार की एक मिसाल है।

बेगूसराय के औद्योगिक क्षेत्रों के दौरे के बाद बिहार के उद्योग मंत्री सैयद शाहनवाज हुसैन ने जिला समाहरणालय में जिलाधिकारी व उद्योग विभाग समेत सभी संबंधित विभागों के अधिकारियों की मौजूदगी में एक समीक्षा बैठक में भी हिस्सा लिया, इसमें मुख्यमंत्री उद्यमी योजना से लेकर जिले में उद्योग विभाग की तमाम योजनाओं की समीक्षा की गई और कमियों पर विचार करते हुए योजनाओं के क्रियान्वयन में तेजी लाने के दिशानिर्देश संबंधित अधिकारियों को दिया।