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जम्मू-कश्मीर का पूर्ण राज्य का दर्जा किया जाए बहाल, ‘आपत्तिजनक कानूनों’ को करें निरस्त : चिदंबरम


  • प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से 24 जून को जम्मू-कश्मीर के राजनीतिक दलों की मीटिंग बुलाई गई। जिसपर विपक्ष के बयान आने शुरू हो गए हैं। इस बीच कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी चिदंबरम ने जम्मू-कश्मीर को पूर्ण राज्य का दर्जा बहाल करने की मांग करते हुए कहा कि संसद के आगामी मानसून सत्र में ‘आपत्तिजनक कानूनों’ को निरस्त कर, वहां पूर्व की यथास्थिति बहाल की जाए। उन्होंने कहा कि जम्मू-कश्मीर को एक राज्य संविधान के तहत बनाया गया था।

 

चिदंबरम ने इस बात पर जोर दिया कि जम्मू-कश्मीर को एक राज्य संविधान के तहत बनाया गया था, उसे संसद के किसी अधिनियम द्वारा संविधान के प्रावधानों की गलत व्याख्या और दुरुपयोग से बदला नहीं जा सकता। उन्होंने कहा, ”कृपया याद रखें कि जम्मू-कश्मीर के विभाजन को उच्चतम न्यायालय में चुनौती दी गई है और मामला लगभग 2 वर्षों से लंबित है। मानसून सत्र में, संसद को आपत्तिजनक कानूनों को निरस्त कर, जम्मू-कश्मीर में पूर्व की यथास्थिति बहाल करनी चाहिए।”