पटना

पटना: कोरोना जांच की रफ्तार बढ़ायें : सीएम


      • टीकाकरण में तेजी लायें, बाहर से आने वालों की ट्रेवल हिस्ट्री जानें
      • स्कूलों में जरूरी सुविधाएं उपलब्ध हों
      • मुख्यमंत्री ने की कोविड-19 पर उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक

(आज समाचार सेवा)

पटना। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने देशभर में कोरोना संकट की दूसरी लहर देखते हुए शनिवार को एक अणे मार्ग स्थित नेक संवाद में एक उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक की। उन्होंने उच्चाधिकारियों को सख्त निर्देश देते हुए कहा कि बाहर से आने वाले लोगों की ट्रेवेल हिस्ट्री की जानकारी रखें तथा उनके संपर्क में आने वाले लोगों को भी सचेत करें। उन्होंने कहा कि कोरोना की कम से कम ७० प्रतिशत आरटीपीसीआर जांच हो तथा २४ घंटे के अंदर रिपोर्ट प्राप्त हो।

मुख्यमंत्री ने उच्चाधिकारियों को निर्देश दिया कि कोरोना टीकाकरण की रफ्तार को और बढ़ायें। सभी हेल्प वर्कर, फ्रंटलाइन वर्कर और पुलिसकर्मियों का टीकाकरण तेजी से करायें, इससे कोई भी वंचित न रहे। सभी पेंशनधारियों का भी टीकाकरण करायें। साथ ही आयोजनों-उत्सवों में कम लोगों की भागीदारी हो।

मुख्यमंत्री ने निर्देश देते हुए कहा कि कोरोना टीकाकरण की रफ्तार को और बढ़ायें। सभी हेल्थ वर्कर, फ्रंटलाइन वर्कर और पुलिसकर्मियों का टीकाकरण तेजी से करायें, इससे कोई भी वंचित न रहे। सभी पेंशनधारियों का भी टीकाकरण अवश्य करवायें। अस्पतालों में इलाज करने वाले डाक्टर एवं स्वासथ्यकर्मी कोरोना गाइडलाइन का पालन करें।

सभी पदाधिकारी परिस्थितियों का रिव्यू कर सिर्फ डाइरेक्शन ही नहीं दें बल्कि उसे क्रियान्वित भी करायें। उन्होंने कहा कि राज्य में कोरोना की अभी वैसी स्थिति नहीं है कि स्कूलों को बंद किया जाय। अभी स्कूल खुले रहेंगे और बच्चों की पढ़ाई जारी रहेगी। स्कूलों में सभी जरूरी सुविधाओं का ख्याल रखा जाय। मुख्यमंत्री ने कहा कि लोगों को कोरोना संक्रमण के प्रति सचेत रहने की जरूरत है। सभी लोग कोरोना गाइडलाइन का पालन करें एवं मास्क का प्रयोग अवश्य करें।

बैठक में शिक्षामंत्री विजय कुमार चौधरी, स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय, मुख्य सचिव अरुण कुमार सिंह, अपर मुख्य सचिव शिक्षा संजय कुमार, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव दीपक कुमार, प्रधान सचिव स्वास्थ्य प्रत्यय अमृत, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव चंचल कुमार, मुख्यमंत्री के सचिव अनुपम कुमार, राज्य स्वास्थ्य समिति के कार्यपालक निदेशक मनोज कुमार, मुख्यमंत्री के विशेष कार्य पदाधिकारी गोपाल सिंह सहित स्वास्थ्स विभाग के अन्य अधिकारीगण उपस्थित थे, जबकि वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से सभी प्रमंडलीय आयुक्त, सभी जोन के पुलिस महानिरीक्षक, पुलिस उपमहानिरीक्षक, सभी जिलाधिकारी और वरीय पुलिस अधीक्षक, पुलिस अधीक्षक एवं चिकित्सकगण जुड़े हुए थे।

बैठक में स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव प्रत्यय अमृत ने कोविड-१९ से संबंधित प्रस्तुतीकरण के दौरान राज्य में कोरोना संक्रमण की अद्यतन स्थिति की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि १९ मार्च २०२१ तक कुल २३,०५८,७४७ जांच किये गये हैं। बिहार में प्रति १० लाख की आबादी पर १,८०,५७० जांच किये जा रहे हैं। कुल पॉजिटिव केस २,६३,३५५ हैं जबकि कुल एक्टिव केसों की संख्या ४३६ है।

राष्ट्रीय स्तर पर औसत रिकवरी रेट ९६.२६ प्रतिशत है, जबकि राज्य का औसत रिकवरी रेट ९९.२४ प्रतिशत है। राष्ट्रीय स्तर पर औसत मृत्यु दर १.३८ प्रतिशत है जबकि राज्य का औसत मृत्यु दर ०.५९ प्रतिशत है। राष्ट्रीय स्तर पर डेली अेसट पॉजिटिविटी रेट का औसत ३.२ प्रतिशत है जबकि राज्य का ०.१ प्रतिशत है। उन्होंने बताया कि माइक्रो कंटेनमेंट जोन में शत-प्रतिशत जांच करने के निर्देश दिये गये हैं। इसके साथ ही सभी जिलों के कंट्रोल रूम एक्टिव मोड में हैं और स्थितियों पर नजर रखी जा रही है। उन्होंने कोविड-१९ टीकाकरण की अद्यतन स्थिति की भी जानकारी दी।

प्रधान सचिव स्वास्थ्य ने बताया कि कोरोना संक्रमण की बढ़ती संख्या को देखते हुए सारी तैयारियां की गयी हैं। बाहर से आने वाले लोगों की रैउम जांच की जा रही है। पंचायतों में माइकिंग के माध्यम से लोगों को जागरूक किया जा रहा है। बैठक के दौरान पटना, गया, मुंगेर, भागलपुर, मधुबनी, सहरसा, मुजफ्फरपुर, पश्चिमी संपारण, पूर्वी चंपारण, रोहतास एवं सारण के जिलाधिकारियों ने अपने जिले में टेस्टिंग सेंटर, एक्टिव केस, माइक्रो कंटेनमेंट जोन, हेल्थ इंस्टीट्यूशन, वैक्सीनेशन स्टेट्स आदि के संबंध में अद्यतन स्थिति की जानकारी दी।